RANCHI : रिम्स में व्यवस्था सुधारने की बात कही जाती है। इसको लेकर प्रबंधन लगातार बड़े-बड़े दावे भी कर रहा है। लेकिन सच तो ये है कि हॉस्पिटल की पूरी व्यवस्था ही बेपटरी हो चुकी है। हॉस्पिटल में लैब से लेकर किचन और सिक्योरिटी व्यवस्था तक का संचालन बिना टेंडर के ही चल रहा है। यही नहीं आउटसोर्सिग एजेंसी को ब्लैक लिस्टेड किया जा चुका है। इसके लिए बाद भी इस एजेंसी के स्टाफ जमे हुए हैं। जबकि इन्हें हटाने के लिए हेल्थ सेक्रेटरी तक प्रबंधन को पत्र लिख चुके हैं लेकिन प्रबंधन ने उनके आदेश को भी फॉलो नहीं किया।

तो भी नहीं टस से मस

हॉस्पिटल में किचन के संचालन के लिए टेंडर फरवरी में निकाला गया था। जिसके बाद छह एजेंसियों ने टेंडर में इटरेस्ट दिखाया। स्क्रूटनी के बाद दो एजेंसियों के पेपर मिसिंग पाए गए थे। जबकि चार अन्य एजेंसियां भी टेंडर प्रक्रिया को पूरा किया था। लेकिन किचन के संचालन के लिए इनमें से एक भी एजेंसी को फाइनल नहीं किया जा सका है। वहां यहां किचन संचालन का काम कर रही एजेंसी प्राइम किचन सर्विस का टेंडर छह जून को ही खत्म हो चुका है। लेकिन इसके बाद यह यहां टस से मस नहीं हुई है।

5 साल से एक्सटेंशन दर एक्सटेंशन

हॉस्पिटल में सिक्योरिटी व्यवस्था का जिम्मा एवरेस्ट ह्यूमन को मिला है। पांच सालों से इस एजेंसी को एक्सटेंशन दर एक्सटेंशन दिया जा रहा है। सिक्योरिटी का जिम्मा दूसरी एजेंसी को देने के लिए प्रबंधन कई टेंडर भी निकाल चुका है। कुछ एजेंसियों को चुना भी गया। लेकिन एक भी सिक्योरिटी एजेंसी को अब तक फाइनल नहीं हो पाया है। इस वजह से बिना टेंडर के ही सिक्योरिटी व्यवस्था संभाल रही एजेंसी के स्टाफ भी असमंजस की स्थिति में ही काम कर रहे हैं।

ब्लड सैंपल को भी समय खत्म

मरीजों को बेहतर सुविधा उपलब्ध कराने के लिए सेंट्रल कलेक्शन सेंटर (लैब) की शुरुआत हुई। जील इंडिया को दो साल तक इस सेंटर संचालन का जिम्मा दिया गया था। उसका समय भी 30 जून को खत्म हो चुका है। इसके बाद भी इस एजेंसी को न तो एक्सटेंशन मिला है और न ही दूसरी एजेंसी का चयन किया गया। इस वजह से जील इंडिया ही मरीजों के ब्लड का सैंपल कलेक्ट कर रही है।

Posted By: Inextlive