आप जब भी सोना खरीदने जाते हैं तो ये जानना चाहते हैं कि यह कितन शुद्ध है। आप इसकी पहचान हॉलमार्क के द्वारा करते हैं। पहले सोने की शुद्धता की पहचाना करना थोड़ा कठिन था पर अब सरकार ने हॉलमार्किंग के नियमों को बदल दिया है। जिसके बाद सोने की शुद्धता जांचना आसान हो जायेगा। भारतीय मानक ब्‍यूरो ने शुद्धता को पहचानने के लिए गहनों पर लिखने के पैटर्न को बदल दिया है। इसमें कुछ शब्‍दों और अंकों को हटाया गया है तो कुछ को बढ़ाया गया है। ऐसे में आप आसानी से ज्‍वैलरी खरीदते वक्‍त ही शुद्धता को चेक कर सकते हैं।

1- सरकार ने हॉलमार्किंग के नियमों को बदलते हुए अब सिर्फ 3 कैटेगिरी 14, 18 और 22 कैरेट के सोने गहनों पर ही हॉलमार्किंग करने का नया नियम लागू किया है। पहले 10 कैटेगिरीके गहनों पर हॉलमार्क दिया जाता था। जिनमें 9, 14, 16,17, 18,19,20,21,22 और 23 कैरेट के गहनों पर ही हॉलमार्क आता था। अब सिर्फ 14, 18 और 22 कैरेट के गहनों पर नए तरीके से हॉलमार्क की पहचान लिखी जाएगी।

3- अब आप आसानी से पहचान सकेंगे कि यह सोना कितने कैरेट का है। अब अगर 916 की जगह 914 लिखा मिलेगा तो यह मत मान मान लिजीएगा कि यह 22 नहीं इससे कुछ कम कैरेट का है। 1 जनवरी के बाद से गहनों पर मैन्युफैक्चरिंग ईयर को हटा दिया जाएगा। इस तरह अब गहनों पर 5 की जगह सिर्फ चार मार्क ही नजर आएंगे। इनमें हॉलमार्क लोगो कैरेट फिटनेस असेइंग सेंटर और ज्वैलर के पहचान मार्क ही दर्ज होंगे। इससे छोटे से छोटे गहनों पर भी हॉलमार्क की सभी जानकारियों को आसानी से देखा जा सकेगा। ये निशान पहले की बजाय थोड़े और बड़े भी नजर आएंगे।

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Posted By: Prabha Punj Mishra