- शाम ढलते सड़क किनारे खड़ी हो जाती सैकड़ों गाडि़यां

- नशे में धुत होकर वाहन चलाने से एक्सीडेंट की आशंका

GORAKHPUR: शहर के भीतर होटल, हुक्काबार की जांच में लगी पुलिस की नाक की नीचे जमकर कार'बार' चल रहा है। शाम ढलते ही सड़कों के किनारे फोर व्हीलर खड़ी करके लोग शराब पी रहे हैं। शराब पीने के दौरान यदि किसी ने कोई टोका-टाकी कर दी तो उसके साथ मारपीट तय है। बात यही खत्म नहीं होती बल्कि शराब के नशे में झूमते हुए लोग गाडि़यां दौड़ा ले रहे हैं। इससे हादसे की संभावना लगातार बनी हुई है। मॉडल शॉप के आसपास भीड़ जमा होने से राहगीरों को काफी प्रॉब्लम भी फेस करनी पड़ रही है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि इस मामले में कार्रवाई की जाएगी। चेकिंग अभियान चलाकर सड़क पर शराब पीने वालों की धर पकड़ होगी।

सड़कों के किनारे रेला, पब्लिक के लिए झमेला

शाम ढलते ही सड़कों पर शराब पीने वालों का तांता लग जा जाता है। सिविल लाइंस स्थित मॉडल शॉप से लेकर अन्य जगहों पर स्थित शराब की दुकानों के आसपास लोग रोजाना शराब पीते नजर आ रहे हैं। रेलवे स्टेशन रोड पर रात में सड़क किनारे शराब पीने की शिकायत पर पुलिस कई बार कार्रवाई कर चुकी है, लेकिन अन्य जगहों पर पुलिस की अनदेखी सेलोग आराम से लोग घंटों कार में बैठकर शराब पीकर नियमों की धज्जियां उड़ाने में लगे हुए हैं।

शराब पीकर हो रही ड्राइविंग

व्हीकल का इंजन स्टार्ट करके शराब पीने में कितनी रात गुजर गई। इसका अंदाजा भी नहीं लग पाता। राहगीरों को प्रॉब्लम तब होती है जब शराब पीने वाले तेज रफ्तार में व्हीकल लेकर निकलते हैं। शराब पीकर उनके गाड़ी चलाने से एक्सीडेंट का खतरा बना रहता है। पुलिस से जुड़े लोगों का कहना है कि पब्लिक प्लेस पर कहीं शराब पीने के मामले में कार्रवाई की जाती है। चेकिंग के दौरान होने वाले बवाल की वजह से उन पर कम ध्यान दिया जाता है।

क्या होता है नुकसान

- शराब की दुकानों के आसपास रोजाना सैकड़ों गाडि़यां खड़ी होती हैं।

- मॉडल शॉप में भीतर न जाने वाले सरेआम कार में शराब पीते नजर आते हैं।

- महिलाओं और बच्चों के रास्ते से गुजरने पर बचकर निकलना पड़ता है।

- बेतरतीब कार खड़ी होने से सड़क पर जाम लग जाता है जिससे पब्लिक परेशान होती है।

-शराब पीने के बाद लोग तेज रफ्तार में गाड़ी चलाते हैं जो बड़ी दुर्घटना का सबब बन सकती है।

फैक्ट फिगर

मॉडल शॉप 12

बीयर शॉप 107

अंग्रेजी शराब की शॉप 115

देसी शराब की दुकानें 279

छह माह में 232 मौतें, 500 से अधिक जख्मी

पुलिस से जुड़े लोगों का कहना है कि रोजाना रोड एक्सीडेंट होते हैं। हादसे में होने वाली मौत पर औसतन रोजाना दो लोगों का पोस्टमॉर्टम कराया जाता है। बारिश के दौरान एक्सीडेंट बढ़ जाते हैं। मामूली सी लापरवाही पर लोगों को जान गंवानी पड़ती है। पिछले छह माह के भीतर शहर में हुए एक्सीडेंट में कुल 232 लोगों की जान चली गई। 500 से अधिक लोग घायल हुए। इनमें 90 लोगों की जान शराब पीने की वजह से गई है। अन्य वजहों में हेलमेट न पहनने, गलत तरीके से गाड़ी चलाने जैसे दूसरे कारण सामने आए हैं। शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों की जांच का आलम यह है कि महज 42 लोगों का चालान ट्रैफिक पुलिस ने किया है।

सड़क एक्सीडेंट रोकने लिए रोजाना अभियान चलाया जाता है। पब्लिक को ट्रैफिक नियमों की जानकारी दी जाती है। शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों की जांच भी कराई जा रही है।

आदित्य प्रकाश वर्मा, एसपी ट्रैफिक

Posted By: Inextlive