सीबीआई निदेशक रंजीत सिन्हा के क्रिकेट में सट्टेबाज़ी को क़ानूनी बनाने के मामले में बलात्कार का हवाला देने से विवाद खड़ा हो गया है. विभिन्न नारीवादी संगठनों और बुद्धजीवियों ने उनकी इस टिप्पणी की निंदा की है.


द्रविड़ मंगलवार को दिल्ली में सीबीआई और राज्य की भ्रष्टाचार निरोधक शाखा द्वारा आयोजित 'इंटरनेशनल कॉन्फ्रेंस ऑन इवॉल्विंग कॉंमन स्ट्रैटजीज़ टु कॉम्बैट करप्शन एंड क्राइम' में बोल रहे थे.इसी मौक़े पर सिन्हा ने कहा, "क्रिकेट में सट्टेबाज़ी को क़ानूनी बनाने से कोई नुक़सान नहीं होगा क्योंकि ऐसा प्रतिबंध लगाने से कोई फ़ायदा नहीं जिसे लागू न किया जा सके."सिन्हा ने कहा, "अगर आप सट्टेबाज़ी पर प्रतिबंध लागू नहीं कर सकते… तो कुछ वैसा ही कहना हो गया कि अगर आप बलात्कार को रोक नहीं सकते तो उसका मज़ा लीजिए."समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार सीबीआई के प्रवक्ता ने रंजीत सिन्हा के बयान पर स्पष्टीकरण देते हुए कहा, "सिन्हा का बयान सट्टेबाज़ी के संदर्भ में दिया गया था, वो क्रिकेट में सट्टेबाज़ी को क़ानूनी बनाने के मसले पर बोल रहे थे."
सिन्हा के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए आल इंडिया प्रोग्रेसिव वुमन्स एसोसिएशन (एआईपीडब्ल्यूए) की सचिव कविता कृष्णन ने कहा, "संदर्भ साफ़ नहीं है यह सवाल ही नहीं उठना चाहिए. सीबीआई चीफ़ सट्टेबाज़ी को रोक नहीं सकते तो उसे क़ानूनी बना देने की बात कर रहे थे. सीबीआई चीफ़ को बलात्कार और मज़ा के बीच फ़र्क़ नहीं पता है, वो सीबीआई जैसी महत्वपूर्ण संस्था का प्रमुख कैसे हो सकता है. सीबीआई निदेशक को अपने इस बयान के लिए तत्काल पद से हटाया जाना चाहिए."राष्ट्रीय महिला आयोग की निदेशक ममता शर्मा के कार्यालय के अनुसार सीबीआई निदेशक का बयान का संज्ञान लेते हुए राष्ट्रीय महिला आयोग उन्हें नोटिस भेजेगा.

Posted By: Satyendra Kumar Singh