नवंबर तक आ सकती है नई सिटी बसें

120 से अधिक बसें शामिल थी बीते वर्ष मेरठ सिटी ट्रांसपोर्ट में

10 से 15 तक ही यात्री इन दिनों बसों में कर रहे सफर

अधिकतर रूटों पर खाली ही चलानी पड़ रही हैं बसें

50 के करीब नई बसें नवंबर तक मिल सकती है

Meerut। लॉकडाउन के तीन माह के इंतजार के बाद आखिरकार महानगर सिटी बस सेवा के तहत सिटी बसों का संचालन शहर में शुरु तो हो गया लेकिन इन बसों के संचालन से ना तो शहर के लोगों को लाभ मिल रहा है और ना ही खुद विभाग को कुछ फायदा हो रहा है। कारण है बसों की संख्या और संक्रमण के डर के कारण यात्रियों की कमी। शहर में इस समय केवल 14 सिटी बसों का संचालन हो रहा है। क्योंकि अधिकतर सिटी बसें अपनी आयु सीमा पूरी करने के कारण संचालन से बाहर हो चुकी हैं। ऐसे में जो यात्री बसों से सफर करना भी चाह रहे हैं उनको घंटो तक बसें नही मिल पा रही हैं।

यात्रियों को बसों का इंतजार

दरअसल, मेरठ सिटी ट्रांसपोर्ट बसों के बेडे़ में गत वर्ष तक 120 से अधिक बसे शामिल थी। लेकिन गत वर्ष दिसंबर माह से बसों के संचालन की आयु पूरी होने के कारण बसों की संख्या घटना शुरु हो गई। अब जून माह तक केवल 14 बसें ही शहर में संचालन के लिए बची हुई हैं। इनमें भी अधिकतर शहर के बाहर देहात मार्गो पर ही संचालित हो रही हैं ऐसे में शहर के लोगों के लिए सिटी बस सेवा ना के बराबर ही है। घंटों इंतजार के बाद भी लोगों को बस नही मिलती है। ऐसे में डग्गामार सिटी बस ऑटो रिक्शा ही यात्रियों के लिए विकल्प बने हुए हैं।

खाली बसों से नुकसान

वहीं अनलॉक वन में बसों के संचालन की अनुमति मिलने के बाद सिटी ट्रांसपोर्ट ने प्रशासन की गाइडलाइन के अनुसार बसों का संचालन तो शुरु कर दिया, लेकिन बसों में यात्रियों की संख्या ना के बराबर है। आदेश क्षमता के अनुसार यात्री बैठकर संचालित करने का है, लेकिन बसों में यात्री 10 से 15 तक ही मिल रहे हैं। हालत यह है कि अधिकतर रूटों पर बसें खाली ही चलानी पड़ रही है। इससे सिटी ट्रांसपोर्ट का डीजल का खर्च तक नही निकल रहा है।

संक्रमण का डर

हालांकि, पहले जहां बसों में यात्रियों की अच्छी खासी संख्या देखने को मिलती थी लेकिन कोरोना काल में बसों में यात्रियों की संख्या सिमट गई है। हालत यह है कि संक्रमण के डर से लोग सिटी बसों में सफर करने से परहेज कर रहे हैं। जिससे यात्रियों की संख्या कम रह गई है।

नवंबर में मिल सकती हैं नई बसें

वहीं मेरठ के लिए 50 के करीब नई बसें स्वीकृत होने के बाद भी अभी नवंबर माह तक शहर के लोगों को नई सिटी बसों का इंतजार करना पड़ सकता है। लॉक डाउन के कारण बसों का काम अधर में अटक गया। वहीं दूसरी और मेरठ में इलैक्ट्रोनिक चाìजग स्टेशन की कवायद भी रूकी हुई है। ऐसे में जब तक चाìजग स्टेशन नही बनेगा बसों का संचालन होना भी मुश्किल है। लेकिन सिटी ट्रांसपोर्ट जल्द से जल्द यह काम पूरा कराने की कवायद में जुट गया है।

बसों की आयु सीमा पूरी होने के कारण संख्या कम हो गई है। जितनी बसें है उनका संचालन किया जा रहा है। नई बसें आने तक शहर के लोगों को थोड़ी परेशानी झेलनी होगी। मुख्यालय से बसों की डिलीवरी का प्रयास किया जा रहा है।

अनिल अग्रवाल, एआरएम सिटी ट्रांसपोर्ट

Posted By: Inextlive