- घाट ब्लॉक के 3 गांवों में बादल फटने व आकाशीय बिजली गिरने से हुआ नुकसान

- मां-बेटी, दो सगी बहनें व रिश्तेदार युवक की मौत, गौशालाएं व 46 मवेशी बहे

>GOPESHWAR: चमोली डिस्ट्रिक्ट के घाट ब्लॉक के तीन गांवों में बादल फटने से छह लोग काल के गाल में समा गए। यहां बादल फटने के साथ आकाशीय बिजली गिरने व लैंडस्लाइड के कारण छह लोग मलबे में जमींदोज हो गए। इनमें मां-बेटी, दो सगी बहनें, एक युवती के साथ रिश्तेदारी में आया युवक भी शामिल है। सभी के डेडबॉडी रिकवर कर ली गई हैं।

::नुकसान का अनुमान :::

- प्रभावित गांवों में 3 आवासीय भवन धराशायी।

- आधा दर्जन गौशालाओं को नुकसान।

- 46 मवेशियों के मारे जाने की सूचना।

- लैंडस्लाइड से कई पैदल रास्ते व पुलिया भी तबाह।

- रेवन्यू, आपदा व एसडीआरएफ की टीमें जुटी रही प्रभावित कार्यो पर।

- चमोली में 4 दिनों के भीतर दूसरी बार मौसम बना जानलेवा

- चुफला गदेरा (बरसाती नाला) के उफान में आने से दो मकान व तीन दुकानें बह गई।

नौ माह की नन्ही चंदा की भी मौत

मिली जानकारी के अनुसार चमोली डिस्ट्रिक्ट में संडे रात 9 बजे से बारिश का क्रम जारी था। बताया गया है कि सुबह 10 बजे तक पूरे डिस्ट्रिक्ट में करीब 70 मिमी बारिश रिकॉर्ड की गई। जबकि घाट ब्लॉक में सबसे ज्यादा पानी बरसा। जहां बांजबगड़, आली और लाखीगांव में आसमान से बरसी आफत ने 6 जिंदगियां लील ली। बताया जा रहा है कि बांजबगड़ निवासी अब्बल सिंह के मकान पर अल सुबह करीब 5 बजे आकाशीय बिजली गिरी। इसी दौरान ऊपरी इलाके में बादल फटने से मकान जमींदोज हो गया। घर में सो रही अब्बल सिंह की पत्‍‌नी रूपा देवी, नौ माह की नन्ही चंदा की मौत हो गई। जबकि लैंड स्लाइडिंग से 40 बकरियों समेत 46 मवेशी भी मारे गए। इसी दौरान कुछ ही दूरी पर स्थित आली गांव में नैनूराम का मकान भी लैंड स्लाइड की चपेट में आ गया, उनकी 21 वर्षीय बेटी नौरती भी मलबे में दफन हो गई। सूचना मिलने पर ग्रामीणों ने रेस्क्यू कर उसका शव मलबे से निकाला। इधर, सुबह करीब पौने नौ बजे लाखी गांव में बादल फटने से शंकर लाल का मकान भी मलबे में दब गया। हादसे में शंकर लाल की बेटियां आरती और अंजलि के अलावा रिश्तेदारी में उनके घर आए युवक अजय की मौत हो गई। करीब 12 घंटे चली मूलसाधार बारिश से घाट विकासखंड में नदी और नाले उफान पर हैं।

::नदियां खतरे के निशान के नजदीक ::

प्रदेश में लगातार हो रही बारिश से गंगा, अलकनंदा, मंदाकिनी, काली नदी, गोरी नदी समेत अधिकांश नदियां खतरे के निशान के करीब पहुंच चुकी हैं।

केदारनाथ एनएच चौथे दिन भी नहीं खुला

केदारनाथ हाईवे बांसवाड़ा में चौथे दिन भी बाधित रहा। बताया जा रहा है कि यहां लगातार लैंड स्लाइडिंग हो रही है। वैकल्पिक मार्ग से वाहन गुप्तकाशी पहुंच रहे हैं। हालांकि यहां पैदल यात्रा जारी है। बद्रीनाथ एनएच लामबगड़ समेत 3 स्थानों पर यात्रा मार्ग के खुलने व बंद होने का सिलसिला जारी रहा। हाल ऐसा ही यमुनोत्री एनएच पर डाबरकोट में भी रहा। जबकि गंगोत्री हाईवे उत्तरकाशी में चुंगी बड़ेथी के पास अवरुद्ध है। वैकल्पिक रूट के जरिए यहां आवाजाही जारी है।

Posted By: Inextlive