- चारधाम विकास परिषद के उपाध्यक्ष सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत से मिले

>DEHRADUN: बद्रीनाथ धाम में सीईओ की कुर्सी पर एसडीएम के बैठने का विवाद भले ही शांत हो गया हो, लेकिन फ्राइडे को मामला सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत तक पहुंचा. चारधाम विकास परिषद के उपाध्यक्ष आचार्य शिव प्रसाद ममगाई ने सीएम से मुलाकात की और सीएम से कहा कि इस प्रकार की घटनाओं से देश-दुनिया से चारधाम यात्रा पर आने वाले यात्रियों के बीच गलत संदेश पहुंचाता है. वहीं चारधाम विकास परिषद के उपाध्यक्ष ने प्रकरण सामने आने के बाद बीकेटीसी से जानकारी लेने की बात कही है.

उपाध्यक्ष जाएंगे बद्रीनाथ व केदारनाथ

थर्सडे को बद्रीनाथ धाम में बीकेटीसी के साईओ की कुर्सी पर जोशीमठ के एसडीएम वैभव गुप्ता बैठ गए. जिसके बाद बद्री-केदार मंदिर समिति के कर्मचारियों में आक्रोश बढ़ गया और करीब दो घंटे तक मंदिर से जुड़ी प्रक्रियाएं प्रभावित रही. जबकि करीब एक घंटे तक भगवान बद्रीविशाल को लगने वाला भोग भी नहीं मिल पाया. इसके अलावा एसडीएम ने सीईओ से मंदिर से जुड़ी पत्रावलियां भी तलब की. हालांकि बाद में एसडीएम ने बाद में अपना स्पष्टीकरण दिया और खेद भी जताया. जिसके बाद प्रकरण मामला शांत हुआ. प्रकरण सामने आने के बाद अब चारधाम विकास परिषद भी एक्टिव हो गया है. फ्राइडे को सुबह चारधाम विकास परिषद के उपाध्यक्ष आचार्य शिव प्रसाद ममगाई ने सीएम से मुलाकात की. उन्होंने कहा कि ऐसे प्रकरण सामने आने के बाद चारधाम यात्रा पर आने वाले यात्रियों के बीच गलत मैसेज देश-दुनिया में जाएगा, जो गलत है. चारधाम विकास परिषद के उपाध्यक्ष ने बताया कि सीएम ने इस प्रकरण में उनसे जानकारी भी मांगी है. इधर, बताया जा रहा है कि जब चारधाम विकास परिषद के उपाध्यक्ष ने प्रकरण पर बीकेटीसी से जानकारी लेनी चाही तो उनको बीकेटीसी से कोई रिस्पांस नहीं मिला. जिस पर चारधाम विकास परिषद के उपाध्यक्ष ने नाराजगी जताई है. वहीं बद्री-केदार मंदिर समिति के अध्यक्ष ने इसको सिरे से खारिज करते हुए कहा कि कि बीकेटीसी चारधाम विकास परिषद के के अधिकार क्षेत्र में नहीं है. बीकेटीसी के अध्यक्ष ने कहा कि थर्सडे को उपजा विवाद अब शांत हो चुका है. अब इस मामले पर बेवजह तूल नहीं दिया जाना चाहिए.

Posted By: Ravi Pal