आगरा। डॉ। भीमराव आम्बेडकर यूनिवर्सिटी की मुख्य परीक्षा में नकल रोकने के लिए बनाई गई रणनीति फेल होती दिख रही है। परीक्षा केंद्रों पर जमकर स्टूडेंट्स को नकल कराई जा रही है। इसके पीछे सबसे बड़ी वजह मानकों में फेल कॉलेजों को केन्द्र बनाया जाना है।

नकल रोकने के नहीं इंतजाम

रामबाग के टेढ़ी बगिया स्थित डिग्री कॉलेज में जमकर नकल कराई जा रही है। सूत्रों की मानें तो नकल के लिए स्टूडेंट्स से जबरन वसूली की जा रही है। नाम न छापने की शर्त पर छात्रों ने बताया कि उन्होंने यूनिवर्सिटी में इसकी शिकायत भी की, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। विवि परीक्षा का ये हाल सिर्फ इसी केंद्र पर ऐसा नहीं है, बल्कि एक दर्जन से अधिक कॉलेजों में धड़ल्ले से नकल का खेल चल रहा है।

विवि नहीं नकल रोकने पर गंभीर

नकलविहीन परीक्षा के दावे यूनिवर्सिटी प्रशासन भी गंभीर नहीं हैं। नकल रोकने के लिए अभी तक फ्लाइंग स्क्वॉयड का गठन नहीं किया गया है। जिससे कॉलेज संचालक मनमाफिक परीक्षा कर रहे हैं। अगर फ्लाइंग स्क्वॉयड सक्रियता से भूमिका निभाएं तो काफी हद तक नकल पर अंकुश लगाया जा सकता है।

नहीं लिया सबक

विवि की मुख्य परीक्षा में पिछली बार दर्जनों कॉलेजों से नकल बरामद की गई थी। कई परीक्षा केन्द्र सामूहिक नकल के मामले प्रकाश में आए। लेकिन, विवि प्रशासन द्वारा इन सब घटनाओं से सबक नहीं लिया गया।

परीक्षा केंद्र पर ये है नियम

- 500 मीटर के दायरे में बहारी लोगों का आवागमन प्रतिबंध

- केंद्र पर सुरक्षाकर्मी रहें तैनात

- मुख्य गेट बंद नहीं रहना चाहिए

- क्लास में लगें सीसीटीवी

- वॉइस रिकॉर्डिग सुविधा भी हो

नकल पर अंकुश लगाने के लिए सचल दल का गठन किया गया है। सचल दल परीक्षा को पारदर्शी बनाने में सहयोग करेंगे। परीक्षा नियंत्रक सभी केन्द्रों की रिपोर्ट पर एक्शन लेंगे।

गिरजा शंकर शर्मा, पीआरओ डॉ। भीमराव आम्बेडकर यूनिवर्सिटी

Posted By: Inextlive