-हेल्थ डिपार्टमेंट के अनुसार, गोरखपुर में 6-7 दिन में ठीक हो जा रहे कोरोना पॉजिटिव मरीज

GORAKHPURÑ

देशभर में कोरोना संक्रमितों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। ऐसे में लोगों को सतर्क रहने की ज्यादा आवश्यकता है। आंकड़ों के मुताबिक, गोरखपुर में संक्रमण रेट जहां 4.7 फीसदी है वहीं, रिकवरी रेट 70 फीसदी है। इसलिए गोरखपुराइटस डरे नहीं, सतर्क रहे। बहुत जरूरी होने पर ही घरों से बाहर निकले। शादी व अन्य किसी तरह के पार्टी को इग्नोर करें तो ज्यादा बेहतर होगा।

हेल्थ डिपार्टमेंट की मानें तो पहले की अपेक्षा ज्यादा सैंपल की जांच होने से कोरोना पॉजिटिव केसेज अधिक आ रहे हैं। बीआरडी मेडिकल कॉलेज के माइक्रोबॉयोलोजी डिपार्टमेंट के अनुसार, गोरखपुर में अब तक 6814 सैंपल की जांच हुई है।

6-7 दिन में हो जाते हैं स्वस्थ

सीएमओ डॉ। श्रीकांत तिवारी ने बताया कि जिस गति से कोरोना के मरीज बढ़े हैं। उतने ही तेजी से ठीक भी हो रहे हैं। जिन्हें पहले से कोई गंभीर बीमारी नहीं है, उन्हें बिल्कुल घबराने की जरूरत नहीं है। कोरोना पॉजिटिव अगर वे हो भी जाते हैं तो वे 6-7 दिन आइसोलेशन वार्ड में रखने पर रिकवर हो जा रहे हैं। ऐसे में उनके दोबारा जांच पर डिस्चार्ज कर दिया जाता है। जिन्हें गंभीर बीमारी पहले से है जैसे किडनी इंफेक्शन, लीवर प्राब्लम या अन्य गंभीर बीमारी तो उन्हें रिकवरी में थोड़ा वक्त लगता है। गोरखपुर में अधिकतर मरीज छह से सात दिन में ठीक हो जा रहे हैं।

अब रोज एक हजार जांच

जिला अस्पताल में 4 जून से ट्रू-नेट मशीनें लगा दी गई हैं। प्रतिदिन इस मशीन के जरिए 15-20 सैंपल की जांच की जाती है। वहीं, बीआरडी मेडिकल कॉलेज के माइक्रोबॉयोलोजी डिपार्टमेंट में पहले 400-500 सैंपल की जांच की जाती थी। अब प्रतिदिन एक हजार जांच हो रही है। शासन का आदेश है कि ज्यादा से ज्यादा जांच पर फोकस किया जाए। ताकि संक्रमित व्यक्ति को आइसोलेशन वार्ड में एडमिट कर उसे स्वस्थ किया जा सके।

एडवांस टेक्नोलॉजी से लैस डिपार्टमेंट

बीआरडी मेडिकल कॉलेज के माइक्रोबॉयोलोजी डिपार्टमेंट के हेड ऑफ डिपार्टमेंट डॉ। प्रो। अमरेश कुमार सिंह बताते हैं कि कोरोना मरीजों के सैंपल पहले के मुकाबले ज्यादा आ रहे हैं। इसलिए हमारी टीम जहां पहले मैनुअल जांच करती थी। अब एडवांस टेक्नोलॉजी की मशीनें लगा दी गई हैं। जिससे जांच की गति बढ़ा गई है। जांच के लिए दो आरएनए एक्सट्रैक्शन मशीनें लगाई गई हैं, जो आटौमैटिक है। यह कोरोना वायरस का आरएनए निकालता है। पहले मैनुअल मैथड से होता था। अब मशीन से हो रहा है। समय बच रहा है। आरएनए की जांच आधे घंटे में हो जा रही है। उसके बाद आरटीपीसीआर जांच करते हैं। जांच में छह से आठ घंटे तक लग जाता है। रिपोर्ट भी आसानी से आ जाते हैं।

गोरखपुर मंडल में अब तक हुई जांच

गोरखपुर - 6814

देवरिया - 4995

कुशीनगर - 4698

महराजगंज- 4775

कुल - 21282

नोट: यह आंकड़े सोमवार रात 11 बजे तक के हैं।

जिला स्वस्थ हुए एक्टिव कुल केस मौत

गोरखपुर - 241 89 343 13

महराजगंज - 129 36 168 03

कुशीनगर - 63 57 122 02

देवरिया - 151 62 217 04

नोट: गोरखपुर के आंकड़े मंगलवार रात 11 बजे तक के हैं, जबकि, महराजगंज, देवरिया और कुशीनगर के आंकड़े सोमवार रात 11 बजे तक के हैं।

बाक्स में

पहले कोरोना पॉजिटिव मरीज की मौत

गोरखपुर जिले के पहले कोरोना मरीज की मंगलवार सुबह हार्टअटैक आने से मौत हो गई। उसने एक महीने तक हॉस्पिटल में रहकर कोरोना को मात दी थी। बताया जा रहा है कि मंगलवार सुबह उसे हार्ट अटैक आया तो परिजन उसे प्राइवेट हास्पिटल ले गए, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। वह 26 अप्रैल को दिल्ली से घर आया था। उसी दिन उसको बीआरडी मेडिकल कॉलेज के आईसोलेशन वार्ड में भर्ती कराया गया था। जहां उसकी रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव आई थी। एक महीने तक मेडिकल कॉलेज में कोरोना से जंग लड़ते रहने के बाद, चार बार उसकी रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। अंत में पांचवी रिपोर्ट निगेटिव आने के बाद उसे घर भेज दिया गया। इस दौरान सीएम योगी आदित्यनाथ रोज फोनकर उसका हालचाल पूछते थे।

वर्जन

कोरोना मरीजों की संख्या में इजाफा हुआ है। लेकिन स्वस्थ भी मरीज हो रहे हैं। ऐसे में घबराने की जरूरत नहीं है। दो गज की दूरी, मास्क व सेनिटाइजर का इस्तेमाल बेहद जरूरी है। क्योंकि अब अनलॉक-2 स्टार्ट हो चुका है। ऐसे में घर से तभी निकलें जब बहुत जरूरी हो।

डॉ। श्रीकांत तिवारी, सीएमओ

Posted By: Inextlive