Dainik Panchang 30 December 2021 : तिथि नक्षत्र वार योग और करण से मिलकर पंचांग बनता है। गुरुवार 30 दिसंबर के दैनिक पंचाग के मुताबिक शुभ मुहूर्त राहुकाल सूर्योदय और सूर्यास्‍त का समय तिथि नक्षत्र सूर्य करण चंद्र व दिशाशूल की स्थिति मास व पक्ष की समस्‍त जानकारी यहां दी गई है।


डाॅ. त्रिलोकीनाथ (ज्योतिषाचार्य और वास्तुविद)। Dainik Panchang 30 December 2021 : हिंदू धर्म में पंचांग का विशेष महत्व होता है। गुरुवार 30 दिसंबर एकादशी 13:42:05 तक तदोपरान्त द्वादशी तिथि है। एकादशी तिथि के स्वामी विश्वदेव जी हैं तथा द्वादशी तिथि के स्वामी भगवान विष्णु जी हैं। गुरूवार के दिन भगवान विष्णु जी की पूजा करने से दीर्घ आयु की प्राप्ति होती है ।आज के दिन क्या करें और क्या न करेंगुरूवार को दक्षिण दिशा में यात्रा नहीं करनी चाहिए। यदि ज्यादा आवश्यक हो तो घर से सरसों के दाने या जीरा खाकर निकलें। एकादशी तिथि में चावल एवं सेम नहीं खाना चाहिए यह तिथि उपवास, धार्मिक कृत्य उद्यापन तथा कथा एकादशी में शुभ है। दिन का शुभ मुहूर्त, दिशाशूल की स्थिति, राहुकाल एवं गुलिक काल की वास्तविक स्थिति के बारे में जानकारी आगे दी गई है।

30 दिसम्बर 2021 दिन- गुरुवार का पंचागसूर्योदयः- प्रातः 06:47:00


सूर्यास्तः- सायं 05:13:00विशेषः- गुरूवार के दिन भगवान विष्णु जी की पूजा करने से दीर्घ आयु की प्राप्ति होती है ।विक्रम संवतः- 2078शक संवतः- 1943आयनः- दक्षिणायनऋतुः- शिशिर ऋतुमासः- पौष माहपक्षः- कृष्ण पक्षतिथिः- एकादशी 13:42:05 तक तदोपरान्त द्वादशी तिथि

तिथि स्वामीः- एकादशी तिथि के स्वामी विश्वदेव जी हैं तथा द्वादशी तिथि के स्वामी भगवान विष्णु जी हैं।नक्षत्रः- विशाखा 24:54:00 तक तदोपरान्त अनुराधा नक्षत्रनक्षत्र स्वामीः- विशाखा नक्षत्र के स्वामी गुरु देव हैं तथा अनुराधा नक्षत्र के स्वामी शनि देव जी हैं। योगः- धृति 21:48:35 तक तदोपरान्त शूलदिशाशूलः- गुरूवार को दक्षिण दिशा में यात्रा नहीं करनी चाहिए। यदि ज्यादा आवश्यक हो तो घर से सरसों के दाने या जीरा खाकर निकलें।गुलिक कालः- शुभ गुलिक काल 09:48:00 A.M से 11:05:00 P.M बजे तक।राहुकालः- राहुकाल 01:41:00 P.M से 02:58:00 P.M बजे तक।तिथि का महत्वः- एकादशी तिथि में चावल एवं सेम नहीं खाना चाहिए यह तिथि उपवास, धार्मिक कृत्य उद्यापन तथा कथा एकादशी में शुभ है।“हे तिथि स्वामी, दिन स्वामी, योग स्वामी, नक्षत्र स्वामी आप पंचांग का पाठन करने वालों पर अपनी कृपा दृष्टि बनाये रखना।”

Posted By: Shweta Mishra