बढ़ती गर्मी से गहराया बच्चों पर संकट
- 8 से 12 बच्चे रोजाना हो रहे जिला अस्पताल में भर्ती
- 50 प्रतिशत बच्चे डायरिया और न्यूमोनिया से पीडि़त आ रहे अस्पताल Meerut । बढ़ती गर्मी न केवल मौसम की तल्खी बढ़ा रही है, बल्कि बच्चों पर भी कहर बनकर टूट रही है। यही वजह है कि इन दिनों अस्पतालों के बच्चा वार्डो में भारी भीड़ नजर आ रही है। करीब 50 प्रतिशत बच्चे इन दिनों डायरिया और न्यूमोनिया से पीि1ड़त हैं। यह है स्थिति गर्मी के कारण बच्चों में लूज मोशन, डायरिया, बुखार, पेट दर्द, सांस की बीमारी जैसी समस्याएं पैदा हो रही है। स्थिति यह है कि जिला अस्पताल में रोजाना 8 से 12 बच्चों को भर्ती करना पड़ रहा है। हर दिन आधे से अधिक नवजात से लेकर 8 साल के बच्चे डायरिया और पेट में दर्द की शिकायत से ग्रसित हो रहे हैं।आंखें भी हो सकती हैं कमजोर
आई सर्जन डॉ। पीके वाष्र्णेय बताते हैं तेज गर्मी व सीधी पड़ती धूप से आंख में जाती तेज रोशनी और गर्म हवाएं आंख में ल्यूब्रिकेंट को सूखा देती है। जिसका असर रेटिना पर पड़ता है। इससे आंख की रोशनी भी कम होने की संभावना बन जाती है। तेज धूप आंखों के लिए भी खतरनाक है। आंखों को धूप से बचा कर रखें। आंख को ठंडे पानी से धोना चाहिए।
जिला अस्पताल में एडमिट बच्चों की संख्या दिनांक मार्च-- अप्रैल 16- 10-- -138 17- 05- -08 18- 03- -12 19- 09- -11 20- 06- -08 21- 13- -04 22- 08- -07 23- 11- -11 24- 13- -14 कटोरी चम्मच से पिलाएं दूध डॉक्टर्स का कहना है कि इस मौसम में बच्चों को बोतल की बजाए कटोरी-चम्मच से दूध पिलाना बेहतर होता है। बोतल में कीटाणु चिपके रह जाते हैं। पेट में पहुंचकर वह बीमारियां फैलाते हैं। जबकि इस मौसम में बाहर का खाना और गंदगी से भी परहेज करना चाहिए। अधिक पिलाएं पानीमेडिकल कॉलेज के पीडियाट्रिक डा। नवरत्न गुप्ता कहते हैं कि इस मौसम में बच्चों को पानी अधिक पिलाना चाहिए। ओआरएस का घोल, दाल का पानी, कच्चा आम पकाकर लगाना व पिलाना चाहिए। आसानी से पचने वाला भोजन ही करना चाहिए, तेल-मसाला की मात्रा कम होना चाहिए। लूज मोशन या तेज बुखार की स्थिति को नजरअंदाज नहीं करें।
यह बरतें सावधानी - शरीर में पानी की कमी ना होने दें - 3 साल से कम उम्र के बच्चों को स्तनपान करवाएं - साफ-सफाई का विशेष ख्याल रखें न करें नजर अंदाज - शरीर पर लाल रंग के चकते दिखाई देना - पेट में दर्द होना - शरीर के तापमान में बदलाव - भूख ना लगना - तेज गर्मी में भी पसीना न आना - लगातार दस्त होना -------- इन दिनों छोटे बच्चों में डायरिया के केस काफी ज्यादा हैं। बच्चों को जिंक सीरप जरूर दें। इस मौसम में छोटे खासतौर से 5 साल तक के बच्चों का खास ख्याल रखना होता है। डॉ। एएम रस्तोगी, वरिष्ठ बाल रोग विशेषज्ञ, िजला अस्पताल आठ साल के बेटे को आठ दिनों से पेट में दर्द बना हुआ है। उल्टी भी हो रही हैं। गुलशाना बेटे को लूज मोशन और उल्टी हो रही हैं। सात महीने का बच्चा है। डॉक्टर ने डायरिया बताया है। मौसाबा