शिक्षा के क्षेत्र में उन्होनें किए है कई बड़े काम

कई कॉलेजों के अवैतनिक मंत्री थे डॉ। सेठ

Meerut। गांव पीपलीखेड़ा में जन्में और एएमयू में बीटेक करने वाले शिक्षाविद् सेठ दयानंद गुप्ता जीवन में हमेशा लोगों की मदद को तत्पर रहते थे। गरीबों के लिए उनके दरवाजे सदैव खुले रहे। वे हर रोज अपने आवास पर लोगों की बात सुनते व उनकी मदद करते थे। शिक्षा के क्षेत्र में उन्होनें कई संस्थानों की कायापलट की वहीं गरीब स्टूडेंट की मदद से लेकर कॉलेजों में बिल्डिंग सुधार तक के काम उन्होनें खुशी से किए है।

कई कॉलेजों के अवैतनिक मंत्री थे

समाज के हर क्षेत्र में सेठ दयानंद की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। वे वर्तमान में मेरठ कॉलेज, डीएन कॉलेज, इस्माईल कॉलेज, डीएन पॉलटेक्निक, इस्माईल इंटर कॉलेज, के अवैतनिक मंत्री थे। कॉलेजों में सुधार के लिए उन्हें हमेशा याद किया जाएगा। सार्वजनिक जीवन में सेठ दयानंद पुरुषोत्तम दास टंडन हिंदी संस्थान, सनातन धर्म, नंदराम राजाराम, आदर्श कन्या इंटर कॉलेज मोदीनगर आदि के अध्यक्ष रहे। अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से इंजीनियरिंग की शिक्षा ग्रहण करने के बाद सेठ दयानंद अपने रेलवे रोड स्थित आवास पर हर एएमयू पुरातन छात्र सम्मेलन भी कराते रहे।

कई का करवाया फ्री एडमिशन

कॉलेजों के प्रिंसिपल व स्टूडेंट्स के अनुसार डॉ। दयानंद एक डैडिकेटिड पर्सन थे, उन्होनें न केवल स्टूडेंट्स, कर्मचारियों व शिक्षकों की कॉलेज स्टाफ की पैसों से मदद की, बल्कि वो फैमिली प्राब्लम, कॉलेज एजुकेशन के सुधार की प्राब्लम, नौकरी की प्राब्लम और यहां तक कॉलेजों में डिसिप्लीन प्राब्लम तक बड़े ही आसानी से सुलझाते थे। उन्होनें डीएन कॉलेज में ओल्ड स्टूडेंटस वेलफेयर की शुरुआत करवाई और एल्युमिनाई मीट करवाई। एक पॉजीटिव प्रयास किया जिसके तहत मेरठ से आउट ऑफ कंट्री पहुंचे स्टूडेंट जुडे़, इस अभियान के तहत ओल्ड स्टूडेंट ने मिलकर 50 लाख का फंड इकट्ठा किया जिसकी एफडी करवाई गई। उस एफडी के इंट्रस्ट से हर साल अपने विभाग में बेहतर करने वाले नौ स्टूडेंट को स्कालरशिप की हेल्प दी जाती है।

सूरजकुंड में अंतिम संस्कार

समाजसेवी डॉ। दयानंद गुप्ता का अंतिम संस्कार गुरुवार सूरजकुंड श्मशान घाट में किया गया। उनके बेटे अजय ने पार्थिव शरीर को मुखाग्नि दी। बुधवार रात 10 बजे रेलवे रोड स्थित आवास पर दिल्ली से उनका पार्थिव शरीर लाया गया। अंतिम दर्शन के लिए शिक्षा, राजनीति, समाजसेवा, खेल आदि विभिन्न क्षेत्रों के लोगों का जमावड़ा रहा। शवयात्रा में हजारों की संख्या में शहरवासियों का हुजूम शामिल रहा।

दो बार रह चुके है एमएलसी

सेठ दयानंद राजनीतिक रूप से सक्रिय रहे है। उनके आवास पर कभी हर पार्टी के लोग जाकर मार्गदर्शन लेते थे। कांग्रेंस से उन्होनें 1991 व 1993 में और मेरठ कैंट के एमएलए का चुना भी लड़ा था। इससे पहले 1990 में नगर निगम बनने के बाद मेयर का चुनाव भी लड़ा था।

क्या कहते है शिक्षा विद्

एक अभिभावक का साया उठ गया। उनके मार्गदर्शन में न केवल डीएन कॉलेज आगे बढ़ा, मेरठ की शिक्षा आगे बढ़ी है। जिसे शहर नहीं भूला सकता।

डॉ। बीएस यादव, प्रिंसिपल, डीएन कॉलेज

कॉलेजों में अनुशासन व प्रशासनिक व्यवस्था बनाए रखने के लिए उन्हें जाना जाएगा। एक बड़े संगठन को खड़ा करने में उनका बहुत योगदान है। उनका गरीबों के प्रति काफी योगदान रहा है, वह सभी की समस्याओं को सुलझाने का हर तरह से प्रयास करते थे।

प्रो। एनके तनेजा, वीसी, सीसीएसयू

दयानंद जी ने अनेक नए कोर्स प्रारम्भ कराए जिनमे आज यूनिवर्सिटी की मेरिट आ रही है।अनेक नई बिल्डिंग का निर्माण कराया।डी एन कॉलेज में समाज के हित के लिए जल मिट्टी की जांच खाध पदार्थो की जांच के लिए प्रयोगशाला का निर्माण कराया.गरीब बच्चों की पढ़ाई के लिए स्कालरशिप का प्रबंध कराया। किसानों के लिए वर्मी कम्पोस्ट खाद के लिए कार्य प्रगति पर है सभी कार्य निशुल्क किए है।

डॉ। मनोज, असिसटेंड प्रोफेसर एंड पीआरओ, डीएन कॉलेज

डॉ। सेठ एक डैडिकेटिड पर्सन थे, वो केवल टीचर्स नहीं, कर्मचारियों, स्टूडेंट स्टाफ व हर उस व्यक्ति की मदद को तत्पर रहे है जो उनसे मदद मांगते थे। उन्होनें अनगिनत बच्चों को फ्री पढ़ाया है।

डॉ। संगीता गुप्ता, प्रिंसिपल, मेरठ कॉलेज मेरठ।

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शहर में छाई शोक की लहर

प्रख्यात उद्योगपति, शिक्षाविद्, धर्मनिरपेक्ष, शिक्षा के क्षेत्र में सुविख्यात एवं पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष दयानंद गुप्ता के निधन से भारी क्षति हुई है तथा हमारे बीच से एक ऐसे प्रतिभा के धनी व्यक्ति चले गए है जिनकी रिक्ति को भर पाना मुश्किल है समस्त समाजवादी परिवार इनके निधन पर गहरी संवेदना व्यक्त करता है।

-राजपाल सिंह एडवोकेट

जिलाध्यक्ष समाजवादी पार्टी मेरठ

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कांग्रेस के वरिष्ठ नेता प्रसिद्ध समाजसेवी सेठ दयानंद गुप्ता जी के आकस्मिक निधन पर गहरा दुख प्रकट करता हूं उन्होंने समाज में रहकर जिस तरह से शिक्षा जगत में मेरठ का नाम रोशन किया वह अविस्मरणीय रहेगा। मैं अपनी ओर से भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं।

-संजय शर्मा, एडवोकेट, मेरठ

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डॉ। दयानंद गुप्ता मेरठ के शीर्ष शिक्षाविद् और समाजसेवी थे। वे अमन पसंद और सेकुलर व्यक्ति थे। गरीब बेसहारों के लिए मददगार डॉ। सेठ हिंदू-मुसलमान दोनों के चहेते थे, वे मदद करने में किसी के साथ भेदभाव नहीं करते थे।

-हाजी जैनुर राशीद्दीन

अध्यक्ष, अखिल भारतीय कौमी एकता सदभावना समिति, मेरठ

Posted By: Inextlive