शासन की ओर से मरीजों से लिया जाएगा फीडबैक

शिकायतों को दूर करने के लिए प्रदेशभर में लागू हुई योजना

Meerut. शासन अब मरीजों से 102 व 108 एंबुलेंस सेवा का फीडबैक लेगा. मरीजों की कसौटी पर परखने के बाद इनकी समीक्षा भी की जाएगी. एंबुलेंस सेवा की शिकायतों को संज्ञान में लेते हुए शासन ने नई व्यवस्था लागू कर दी है. एंबुलेंस सेवा का प्रयोग करने वाले मरीज को सीधे लखनऊ मुख्यालय से कॉल कर फीड बैक लिया जाएगा.

ये है वजह

गौरतलब है कि प्रदेशभर में संचालित 102 व 108 एंबुलेंस सेवा मरीजों को बेहतर और निशुल्क इलाज देने की कवायद में शुरु की गई थी, लेकिन तमाम कवायदों के बाद भी मरीजों को इसकी सहूलियत नहीं मिल पा रही थी. 10 मिनट में अस्पताल पहुंचाने का दावा करने वाली एंबुलेंस एक-डेढ़ घंटे में भी मरीज के पास नहीं पहुंच रही थी. वहीं इनमें लगी मशीनों का लाभ भी मरीजों को नहीं मिल रहा था. प्रदेशभर से ऐसी शिकायतें मिलने के बाद शासन ने ये व्यवस्था लागू की है.

करना होगा फिजिकल एग्जामिनेशन

मरीजों के फीडबैक के आधार पर विभागाधिकारियों को एंबुलेंस का फिजिकल एग्जामिनेशन भी करना होगा. इसके तहत सभी सीएचसी, पीएचसी, जिला अस्पताल और मेडिकल कॉलेज के अधिकारी इनकी जांच कर रिपोर्ट तैयार करेंगे. इसके अलावा समय-समय पर मरीजों का भी फीड बैक लिया जाएगा. रिपोर्ट में मरीज का नाम, पता और मोबाइल नंबर देना भी जरूरी होगा. ये रिपोर्ट सीएमओ को सौंपी जाएगी. जिसके आधार पर जिला स्तर पर समीक्षा होगी.

इन बिंदुओं पर फीडबैक

मरीजों के लिए वेंटीलेटर की सुविधा

कितने समय में मरीज को अस्पताल पहुंचाया

डॉक्टर व इमरजेंसी टेक्नीशियन की सुविधा उपलब्ध रही या नहीं

मेडिकल किट,ऑक्सीजन, दवाइयों की उपलब्धता

मानकों के अनुसार जरूरी उपकरण मिले या नहीं

एंबुलेंस चालक का व्यवहार

फैक्ट फाइल

38 एंबुलेंस 102 सेवा के तहत संचालित हो रही हैं.

3 हजार मरीज इसकी सर्विस लेते हैं महीने भर में

25 एंबुलेंस 108 सेवा के तहत संचालित हो रही हैं.

250 से 300 मरीज इसकी सर्विस लेते हैं महीनेभर में

4 लाइफ सपोर्ट एंबुलेंस हैं.

300 रेफर्ड क्रिटिकल मरीज महीने भर में लेते हैं सर्विस

500 से 600 किमी करीब एक एंबुलेंस रोजाना चलती है.

1-2 घंटे में एक एंबुलेंस मेरठ से दिल्ली पहुंचती है.

2017 अप्रैल में ये सर्विस मेरठ में शुरु की गई थी.

हमारी कोशिश है कि एंबुलेस सेवा को लेकर मरीजों को किसी प्रकार की कोई समस्या न आए. हम एंबुलेंस सर्विस को बेहतर बनाने के लिए लगातार काम कर रहे हैं.

प्रोमिल त्यागी, एंबुलेंस कोर्डिनेटर, मेरठ

Posted By: Lekhchand Singh