आपके बैंक एकाउंट से किसी भी तरह का ट्रांजैक्‍शन होता है। एक मैसेज आपके पास आ जाता है। वैसे तो यह आपकी सहूलियत के लिए है लेकिन बैंकवाले आपको ऐसी सुविधाएं फ्री में नहीं देते। जी हां एकाउंट बैलेंस अपडेट्स से लेकर पिन जनरेशन तक कई छोटे-छोटे चार्जेस हैं जो बैंक बिना बताए आपकी जेब से काट लेते हैं। तो आइए जानें किस तरह के होते हैं ये चार्ज...जो मालूम नहीं पड़ते लेकिन एकाउंट से कट जाते...


2. नॉन-मेंटिनेंस चार्ज :किसी भी बैंक एकाउंट में एक न्यूनतम बैलेंस की निश्चित सीमा होती है। यानी कि कोई भी ग्राहक उस न्यूनतम बैलेंस से कम पैसे एकाउंट में रखता है तो बैंक उसका चार्ज वसूल लेती है। इसे नॉन मेंटिनेंस चार्ज कहते हैं। प्रत्येक बैंक के लिए यह न्यूनतम बैलेंस सीमा अलग-अलग होती है। जैसे एचडीएफसी बैंक में किसी भी ग्राहक को अपने एकाउंट में कम से कम 10,000 रुपये बैलेंस रखना पड़ता है। अगर यह 2,500 के नीचे जाता है तो 600 रुपये चार्ज लग जाता है। वहीं 7,500 से 10,000 के बीच बैलेंस रहने पर 150 रुपये पेनाल्टी लगती है। इसके अलावा एसबीआई में न्यूनतम बैलेंस की सीमा 5,000 है, अगर आपका बैलेंस इसके आधे तक पहुंचता है तो 50 परसेंट चार्ज लगता है।4. एटीएम ट्रांजैक्शन :


एटीएम से भी आप जितना मर्जी चाहे, उतना ट्रांजैक्शन नहीं कर सकते। आरबीआई की गाइडलाइन के मुताबिक, एटीएम से महीने में सिर्फ पांच बार ही फ्री ट्रांजैक्शन होता है। इससे ज्यादा करने पर प्रति ट्रांजैक्शन 20 रुपये कटता है।5. इंटरनेशनल ट्रांजैक्शन :

अगर आप विदेश में अपने क्रेडिट या डेबिट कार्ड से पेमेंट करते हैं। तो उसका 3-4 परसेंट एक्चेंज रेट के रूप में कट जाता है।

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Posted By: Abhishek Kumar Tiwari