- जानी में कार लूटने के बाद कर दी गई थी बाबर की हत्या

- 50 हजार रुपये में इनामी राहुल खट्टा को देनी थी कार

- एसटीएफ की टीम ने चार बदमाशों को किया गिरफ्तार

- पुलिस के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है राहुल खट्टा

Meerut जानी के जंगल में चालक की हत्या कर लूटी गई स्विफ्ट कार राहुल खट्टा को देनी थी। सामने आया है कि यह बदमाश राहुल खट्टा की डिमांड पर वाहन लूट करते थे। खट्टा कार लेने के लिए बदमाशों के साथी को डेढ़ लाख रुपये एडवांस दे चुका है। गिरफ्त में आने से पहले बदमाश कार को सरधना राहुल को देने जा रहे थे। एसटीएफ ने चारों बदमाशों को गिरफ्तार कर लिया है।

क्या था मामला

लिसाड़ी गेट थाना क्षेत्र के पूर्वी इस्लामाबाद निवासी बाबर की स्विफ्ट कार को शुक्रवार रात किराए पर ली थी। बाद में कार सवार बदमाशों ने उसकी जानी क्षेत्र के सिसौला के जंगल बेल्ट से गला दबाकर हत्या कर दी थी। एसटीएफ राहुल खट्टा के गैंग के कुछ बदमाशों के मोबाइल नंबर सर्विलांस पर लिए हुए थे। इसी बीच उक्त बदमाश उनसे संपर्क में थे। शनिवार देर रात बदमाशों की लोकेशन सिवालखास गंगनहर पुल के पास ट्रेस हुई। सूचना पर जानी पुलिस ने घेराबंदी चार बदमाशों को पकड़ लिया था। पकड़े गए बदमाश कंकरखेड़ा के गांव घसौली निवासी रूस्तम व मोनू, बागपत के गांव निवाड़ा निवासी अमजद, कंकरखेड़ा के गांव सिधावली निवासी इमरान हैं। एसटीएफ सीओ अनंत कुमार बताया कि बदमाशों के साथ मैना पुट्टी निवासी जानू से राहुल खट्टा ने स्विफ्ट कार लूटने के लिए कहा था। इसके लिए उसने डेढ़ लाख रुपये जानू को दे दिए थे। घटना के बाद शनिवार रात चारों बदमाश कार को सरधना राहुल खट्टा को बेचने जा रहे थे। फिलहाल पुलिस जानू की तलाश कर रही है। हत्या व अपहरण का मामला लिसाड़ी गेट थाने में दर्ज कराया गया है।

शादी में जाने की बात कहकर तय की थी कार

बदमाशों ने गांधी आश्रम के पास ट्रैवेल्स एजेंसी से कार को तय करने के बाद शुक्रवार शाम पांच बजे चालक बाबर को बुलाया था और खतौली शादी में चलने के बात कही। मेरठ से निकलने के बाद दो साथी गंगनहर पर मिलने की बात कहते हुए कार को वहां से निकालने के लिए बाबर को तैयार कर लिया। शार्ट कट से निकलने के चक्कर में बाबर उनके झांसे में आ गया। सिसौला के जंगल में तमंचे के बल पर उसे कब्जे में ले लिया और बेल्ट से गला घोंटकर हत्या कर दी और शव को गन्ने के खेत में फेंक दिया।

फिर हाथ से फिसला खट्टा

एसटीएफ व पुलिस की कहानी पर यकीन करें तो राहुल खट्टा एसटीएफ को चकमा देने में कामयाब हो गया। बताया जा रहा है कि कार को वे सरधना राहुल खट्टा को देने जा रहे थे। आखिर एसटीएफ राहुल की लिए क्यों नहीं जाल बिछाया या वह उनकी घेराबंदी तोड़ने में कामयाब हो गया।

पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंपा शव

एक तरफ पुलिस घटना का खुलासा कर रही थी तो दूसरी ओर बाबर के शव का पोस्टमार्टम कराया जा रहा था। पुलिस ने पोस्टमार्टम कराने के बाद परिजनों को शव सौंप दिया है। परिजनों ने शव को सुपुर्द-ए-खाक कर दिया है।

Posted By: Inextlive