मेडिकल कॉलेज में दाखिले के नाम पर लाखों की ठगी का मुकदमा दज। साढ़े 6 लाख रुपए ठगे फर्जी अभ्यर्थी बिठाने का षडय़ंत्र रच।

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DEHRADUN : एमबीबीएस में एडमिशन कराने के नाम पर दून में एक लड़की के परिजनों से साढ़े 6 लाख रुपए ठगी का मामला सामने आया है। आरोपी ने लड़की का एसजीआरआर मेडिकल कॉलेज एडमिशन कराने का झांसा देकर परिजनों से रुपए लिए थे। एडमिशन नहीं हुआ, तो वह दो वर्ष से रुपए लौटाने के नाम पर किसीअन्य मेडिकल कॉलेज में एडमिशन कराने का वायदा कर टरका रहा था। लड़की की मां ने पटेलनगर थाने में धोखाधड़ी की एफआईआर दर्ज कराई है।

खुद को बताया एडमिशन को-ऑर्डिनेटर

मामला देहरादून के पटेलनगर स्थित एसजीआरआर मेडिकल कॉलेज में एडमिशन से जुड़ा है। डालनवाला निवासी मंजू पुरोहित ने पटेलनगर थाने में एफआईआर दर्ज कराई कि वर्ष 2012, 2013, 2014 में उसने अपनी बेटी प्रियंका पुरोहित को श्री गुरु राम राय मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस की प्रवेश परीक्षा दिलाई थी, लेकिन एडमिशन नहीं हुआ। इसी बीच उन्हें विष्णु कुमार नौटियाल नाम का व्यक्ति मिला और खुद को कॉलेज का एडमिशन को-ऑर्डिनेटर बताया। विष्णु कुमार नौटियाल ने कहा कि बिना डोनेशन के एडमिशन नहीं हो पाएगा, एडमिशन कराना है तो इसके लिए साढ़े 6 लाख रुपए लगेंगे। बताया कि विष्णु कुमार नौटियाल के साथ राहुल शर्मा नाम का व्यक्ति भी मौके पर था।
बैंक से लोन लेकर दिए रुपए
महिला ने बताया कि रिश्तेदार व बैंक से कर्ज लेकर उन्होंने विष्णु कुमार व राहुल शर्मा को साढ़े 6 लाख रुपए दे दिए। इसके बाद भी एडमिशन न होने पर जब आरोपी को पैसे लौटाने को कहा तो उसने मेडिकल काउंसिल के अफसरों से सांठ- गांठ कर एडमिशन कराने का आश्वासन दिया।
फर्जीवाड़े से इनकार तो भगाया
एडमिशन के नाम पर वर्ष 2016 में आरोपी द्वारा उन्हें दिल्ली बुलाया गया। जहां पर दूसरे आरोपी राहुल शर्मा ने उन्हें बताया कि उनकी बेटी की जगह वे किसी और लड़की से एंट्रेंस टेस्ट दिलवाएंगे। पीडि़त ने बताया कि इसके लिए उनके द्वारा मना किए जाने पर राहुल शर्मा ने एंट्रेंस का एडमिट कार्ड फाड़कर उन्हें भगा दिया। इसके बाद वे दोनों आरोपियों से अपने पैसे वापस मांगते रहे, लेकिन आरोपियों ने पैसे न देकर उन्हें जान से मारने की धमकी दे डाली।
कौन है विष्णु नौटियाल
दून निवासी विष्णु नौटियाल एजुकेशन सोसायटी के मुखिया का खास बताया जाता है। इसी की आड़ में वह मेडिकल कॉलेज व अन्य संस्थानों में बे रोक-टोक अपनी धौंस दिखाता था। ठगी के शिकार परिवार का कहना है कि उनकी तरह अन्य लोगों से भी एडमिशन के नाम पर उसने ठगी की है।
इस प्रकरण से एसजीआरआर मेडिकल कॉलेज प्रबंधन का कोई लेना-देना नहीं है। एसजीआरआर मेडिकल कॉलेज में प्रवेश मेरिट के आधार पर होते हैं, यदि मैनेजमेंट सीट में प्रवेश दिलाने के नाम पर किसी कर्मचारी का नाम आया है, तो यह जांच का विषय है। कॉलेज प्रबंधन अपने स्तर से भी जांच करेगा। दोषी पाएजाने पर एसजीआरआर कॉलेज प्रबंधन द्वारा भी मामले में कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
भूपेन्द्र रतूड़ी, पीआरओ, एसजीआरआर

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Posted By: Mukul Kumar