- आठ मार्च तक ही भरे जा सकते हैं बीएड एंट्रेस के फार्म।

- फोटो और सिग्नेचर अपलोड करने आ रहे हैं धोखे में स्टूडेंट।

Meerut: बीएड संयुक्त प्रवेश परीक्षा की ऑफीशियल वेबसाइट ने हजारों अभ्यर्थियों को बड़ी परेशानी में डाल दिया है। वेबसाइट की गलती के चलते फार्म भरने में अभ्यर्थियों में काफी कंफ्यूजन क्रिएट हो गया है। हालात इतने बुरे हैं कि अभ्यर्थी को छोडि़ए साइबर कैफे वालों तक को फोर्म भरने में काफी मशक्कत करनी पड़ रही है। बता दें कि बीएड की संयुक्त प्रवेश परीक्षा इस वर्ष लखनऊ विवि आयोजित करा रहा है।

हो रहा हैं समय खर्च

ऑफीशियल वेबसाइट पर दी हुई गलत इंफ्रार्मेशन के चलते एक फार्म का भरने में दोगुना समय लग रहा है। सदर स्थित साइबर कैफे वाले जतिन ने बताया कि मैंने इससे पहले कई अन्य सरकारी फार्म भरे हैं। इनमें केवल आधा घंटा मुश्किल से लगता है। लेकिन ऐसा पहली बार हुआ है बीएड का फार्म भरने में दोगुना समय खर्च हो रहा है। वहीं रजबन स्थित सन्नी साइबर कैफे वाले सन्नी शर्मा ने बताया कि इस बार बीएड का फॉर्म भरने में काफी दिक्कतें आ रही हैं।

फार्म में दी हुई गलत इंफ्रार्मेशन

अभ्यर्थियों ने बताया कि बेवसाइट पर जब पूरा फार्म भरने के बाद फोटो और सिग्नेचर अपलोड करने की बारी आती है। तभी से दिक्कतें शुरु हो जाती है। क्योंकि वेबसाइट पर फार्म में दिए गए कॉलम में लिखा हुआ है कि फोटो मैक्सिमम 50 केबी की होनी चाहिए और सिग्नेचर 20 केबी के होने चाहिए। लेकिन जब वास्तव में फोटो व सिग्नेचर अपलोड किए जाते हैं तो इस साइज को बिल्कुल भी एसेप्ट नहीं किया जाता है।

क्या कहते हैं अभ्यर्थी

मैनें जब बीएड का फार्म भरा तो फोटो अपलोड करने का कॉलम आया तो बहुत कंफ्यूजन होने लगी। क्योंकि जो नियम उसमें दिया हुआ था। उसके अकार्डिग तो फोटो अपलोड ही नहीं हो रहा था।

चांदनी

इससे पहले कभी ऐसा नहीं हुआ। ऐसा पहली बार हुआ इतनी ज्यादा मेहनत कभी किसी दूसरे फार्म को भरने में नहीं हुई। जितनी बीएड के फार्म में हुई है।

पूजा

मैंने जब फार्म भरा तो सिग्नेचर और फोटो को अपलोड करना बहुत ही मुश्किल हो गया था। एक बार को तो मैं कंफ्यूज भी हो गया था।

अजय कुमार

बीएड का फार्म मैनें साइबर कैफे वाले से भरवाया था। साइबर कैफे वाला भी परेशान था। जब सिग्नेचर अपलोड करने का नम्बर आया तो उसमें मैक्सिमम बीस केबी दिया हुआ था। लेकिन फार्म भरते समय बड़ी मुश्किल से जाकर दस केबी ही एसेप्ट किया गया।

बालकृष्ण

Posted By: Inextlive