रेलवे स्टेशन ट्रैक और प्लेटफॉर्म पर दुर्घटना के कारण होने वाली मौत के शिकार लोगों की पहचान की कोशिश हर प्रदेश में की जाएगी। इसके लिए एसपी जीआरपी पुष्पांजली देवी ने एक नया प्लान तैयार किया है। लावारिस हाल डेड बॉडी की पहचान के लिए जीआरपी हाईटेक संसाधनों का उपयोग करेगी। जीआरपी के इंस्पेक्टर एसआई और कांस्टेबल को डेड बॉडी हैंडलिंग के तौर-तरीके भी बताए जाएंगे। एसपी का कहना है कि इससे ज्यादा से ज्यादा लोगों की शिनाख्त कराने में मदद मिलेगी। डेड बॉडी को रिस्पेक्टफुल तरीके से डिस्पोज कराया जा सकेगा।


गोरखपुर (ब्यूरो)। चेन्नई से कमाकर नेपाल लौट रहे नेपाली नागरिक की मौत होने पर जिम्मेदारों ने लावारिस हाल में दाह संस्कार करा दिया था। नेपाल के प्रदेश पांच, जिल्ला म्यादीगंज, पालिका वार्ड नंबर तीन निवासी गम प्रसाद दगाई चेन्नई में काम करते थे। 25 दिसंबर को वह राप्ती सागर एक्सप्रेस से लौट रहे थे। रेलवे स्टेशन पर अचेत हाल पाकर यात्री मित्र ने आरपीएफ को सूचना दी। गम प्रसाद को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। लेकिन उनकी मौत हो गई। उनके पास यात्रा का टिकट, पहचान पत्र होने के बावजूद जिम्मेदारों ने लावारिस हाल में दाह संस्कार करा दिया। गम बहादुर के घर न पहुंचने पर परिजन परेशान हो गए। भारत नेपाल मैत्री समाज के अध्यक्ष अनिल गुप्ता को बताया। अनिल के साथ ही परिजन गम बहादुर की तलाश में रेलवे स्टेशन पहुंचे। इस दौरान उनको बताया गया कि दाह संस्कार करा दिया गया है। तब घर के लोगों ने कड़ी आपत्ति जताई। यह मामला सामने आने पर एसपी जीआरपी ने नया कदम उठाया।इसलिए नहीं हो पाती पहचान- वर्ष 2019 में करीब 200 अज्ञात डेड बॉडी मिली थी।- इनमें करीब 40 लोगों की डेड बॉडी की पहचान हो सकी।- डेड बॉडी की फोटोग्राफी, साफ और स्पष्ट न होने से प्रॉब्लम आई।


- अज्ञात डेड बॉडी के बारे में कोई डाटा समय से ऑनलाइन अपडेट नहीं किया गया।- घुमंतू व्यक्तियों का परिवार के लोगों के साथ कोई संपर्क न होने की वजह से पहचान में प्रॉब्लम।- अननोन डेड बॉडी के बारे में समयानुसार और सही तरीके से प्रचार प्रसार न करने के कारण।- घटनास्थल पर पुलिस के पहुंचने के पहले मृत व्यक्ति के सामानों मोबाइल, पर्स सहित अन्य सामान गायब करना।जीआरपी अनुभाग गोरखपुर में होगी यह कार्रवाई- डेड बॉडी की सूचना पर तत्काल प्रभारी, कांस्टेबल मौके पर पहुंचेंगे।- स्टेशन अधीक्षक के मेमो का कोई इंतजार नहीं किया जाएगा। कार्रवाई शुरू हो जाएगी।- घटनास्थल पर मौजूद हर तरह के सबूत जुटाए जाएंगे। पब्लिक से पहचान कराने की कोशिश की जाएगी।- पंचायतनामा के दौरान डेड बॉडी के आसपास मोबाइल, पर्स, कागजात आदि सहित अन्य सामान खोजे जाएंगे।- डेड बॉडी की फोटो, उसके संबंध में सूचना का प्रकाशन तत्काल कराया जाएगा, सीसीटीएनएस पर अविलंब अपलोडिंग होगी।- सोशल मीडिया के जरिए डेड बॉडी की फोटो खींचकर पब्लिक के बीच सर्कुलेट किया जाएगा।- त्रिनेत्र एप के जरिए गुमशुदा लोगों के फोटो से मिलान कराया जाएगा। इसके संबंध में पुरानी फाइल खंगाली जाएगी।सोशल मीडिया के जरिए हुई पहचान

10 जनवरी को पडरौना रेलवे स्टेशन पर एक अज्ञात व्यक्ति की डेड बॉडी बरामद हुई। जीआरपी के व्हाट्सअप ग्रुप, पुलिस कंट्रोल रूम सहित अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर इसके बारे में सूचना फैलाई गई। दवा पर्ची के आधार पर नाम और पते की तस्दीक कराने के लिए आसपास के प्रधानों को फोटो भेजी गई। इसके आधार पर मृत व्यक्ति की पहचान कुशीनगर जिले के पुरैनी टोला लक्ष्मीपुर निवासी राम प्रवेश के रूप में हुई।'यात्रा के दौरान अक्सर गलत स्टेशन पर उतरने और अन्य कारण से गुमशुदगी और गिरकर कटने से लोगों की मौत हो जाती है। रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म, एक्सीडेंट और बीमारी के कारण भी डेड पाए गए व्यक्तियों की पहचान नहीं हो पाती। इससे उनके परिजनों तक कोई सूचना नहीं पहुंच पाती। इसको देखते हुए अज्ञात व्यक्तियों की पहचान के लिए एक से अधिक जनपद और राज्य में कार्रवाई जरूरी होती है।'- पुष्पांजली देवी, एसपी जीआरपीgorakhpur@inext.co.in

Posted By: Gorakhpur Desk