माल्या को न्याय के कठघरे में खड़ा करने के लिए प्रतिबद्ध: विदेश मंत्रालय
न्याय के कठघरे में लाएगीशराब कारोबारी विजय माल्या को के मामले में अब सरकार भी अपना रुख साफ कर रही है। जिससे विदेश में बैठे विजय माल्या की मुश्किले अब और बढ़ती जा रही है। हाल ही में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने विदेश मंत्रालय से विजय माल्या को वापस लाने के लिए गुहार लगाई है। जिसके चलते कल सरकार ने ऐलान कर दिया है कि उसे प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) का अनुरोध उसे प्राप्त हुआ है। सरकार ने गंभीरता से उस पर विचार किया है। जिससे साफ है कि वह शराब कारोबारी विजय माल्या को वापस देश लाने के लिए वचनबद्ध है। सरकार माल्या को न्याय के कठघरे में लाने के लिए हर संभव प्रयास करेगी। वह उसके लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है। इतना ही नहीं सरकार ने इस पर विचार विमर्श भी शुरू कर दिया है। विशेषज्ञों से सलाह मशविरा
इस समय विजय माल्या के मामले में विधि विशेषज्ञों से सलाह मशविरा जारी है। इसके अलावा विदेश मंत्रालय शराब कारोबारी विजय माल्या के वकील के जरिए मिले कारण बताओ नोटिस पर भी गंभीरता से विचार कर रहा है। गौरतलब है कि बीते गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट में माल्या की तरफ से कर्ज वसूली मामले में भारतीय स्टेट बैंक की तरफ से दायर मामले का जवाब दिया गया। इस दौरान माल्या ने किंगफिशर एयरलाइंस के लिए अपनी जिन परिसंपत्तियों को बंधक रखा उसकी पूरी जानकारी कोर्ट को दी है। विदेश में बैठे माल्या गैर-जमानती वारंट जारी होने के बाद अब बैंकों को 6,868 करोड़ रुपये चुकाने को तैयार हो गए हैं। बताते चलें कि एयरलाइंस किंगफिशर के मालिक विजय माल्या पर बैंकों का कुल 9000 करोड़ रुपया बकाया है।
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