निर्भया मामले में एक मुजरिम पवन कुमार गुप्ता की याचिका दिल्ली हाईकोर्ट ने खारिज कर दी। कोर्ट ने दोषी के वकील पर 25 हजार रुपये का हर्जाना भी ठोका है।


नई दिल्ली (पीटीआई)। दिल्ली हाईकोर्ट ने बृहस्पतिवार को निर्भया मामले के एक अभियुक्त की याचिका खारिज कर दी है। सामूहिक दुष्कर्म और हत्या के इस मामले में वह चार दोषियों में एक है। उसका दावा था कि अपराध के वक्त दिसंबर 2012 में वह नाबालिग था। जस्टिस सुरेश कुमार कैत ने दोषी के वकील एपी सिंह पर 25 हजार रुपये का जुर्माना भी ठोका है। कोर्ट द्वारा बार-बार संदेश भेजने के बावजूद वे अदालत में पेश नहीं हुए थे।वकील पर कार्रवाई के लिए लिखाकोर्ट ने दिल्ली बार कौंसिल से उनके खिलाफ कार्रवाई के लिए लिखा है। उन्होंने अदालत के समक्ष दोषी की उम्र के बारे में फर्जी शपथपत्र प्रस्तुत किया था। दोषी पवन कुमार गुप्ता ने याचिका दाखिल करके खुद को वारदात के वक्त नाबालिग होने का दावा किया था। इस मामले में पवन के अलावा तीन अन्य मुजरिम मुकेश, विनय शर्मा और अक्षय कुमार सिंह हैं।



चलती बस में की दरिंदों ने हैवानियत

16-17 दिसंबर, 2012 की रात साउथ दिल्ली में छह लोगों ने चलती बस में एक पैरामेडिक छात्र के साथ सामूहिक दुष्कर्म और दरिंदगी की। इतना ही नहीं उसके बाद उन्होंने उसे चलती बस से सड़क पर फेंक दिया था। बाद में सिंगापुर के एक अस्पताल में उपचार के दौरान 29 दिसंबर, 2012 को उसकी मौत हो गई थी।

Posted By: Satyendra Kumar Singh