- शांति समितियों को सक्रिय करने की हिदायत

- सोशल मीडिया पर पैनी नजर रखने का निर्देश

LUCKNOW: कैराना में पलायन, जवाहरबाग कांड पर सियासी बवंडर व रमजान की संवेदनशीलता केमद्देनजर शासन ने पश्चिमी उप्र में 'हाई अलर्ट' घोषित किया है। अधिकारियों को शांति समितियां सक्रिय करने और सोशल मीडिया पर पैनी नजर रखने का हिदायत दी गयी है।

मेरठ, मुरादाबाद और आगरा जोन के आइजी, डीआइजी और एसएसपी को शासन से भेजे निर्देश में कहा गया है कैराना व जवाहरबाग कांड को लेकर सियासी गतिविधियां बढ़ी है। रमजान चल रहा है और ईद नजदीक आ रही है। इससे कुछ क्षेत्रों में संवेदनशीलता बढ़ी है। अराजकतत्व इसका फायदा उठाकर शांति भंग कर सकते हैं। लिहाजा सिपाही से लेकर अधिकारी तक को हाई अलर्ट पर रखा जाये। एसएसपी, एएसपी खुद गश्त पर निकलें, शांति समितियों के सदस्यों के साथ सार्वजनिक स्थान बैठक की जाये, ताकि लोगों में सुरक्षा भाव मजबूत हो। आवश्यक होने पर ही पुलिस कर्मियों को अवकाश दिया जाये। जिला स्तर पर भी सोशल मीडिया की निगरानी करायी जाये और जरूरत पड़ने पर स्पेशल टास्क फोर्स, आतंकवाद निरोधक इकाई के अधिकारियों मदद ली जाये। अपर पुलिस महानिदेशक (कानून व्यवस्था) दलजीत चौधरी का कहना है कि त्योहारों को देखते हुए पुलिस को हाई अलर्ट किया गया है। धार्मिक स्थलों की विशेष सुरक्षा के निर्देश हैं। अधिकारियों से सीयूजी मोबाइल 24घंटे ऑन रखने और उस पर आने वाली कॉल रिसीव करने का भी निर्देश दिया गया है। सरकारी फोन पर जवाब नहीं देने वाले अधिकारियों की पहचान कर उनके खिलाफ कार्रवाई की संस्तुति की जाये। गौरतलब है कि चुनावी साल में सरकार शांति व्यवस्था के साथ कोई लापरवाही बर्दाश्त करने की स्थिति में नहीं है। मुजफ्फरनगर के दंगे और कुछ-कुछ अंतराल में मेरठ, शामली, बागपत में तनाव की स्थितियों को देखते हुए पुलिस को सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम करने का निर्देश दिये हैं।

Posted By: Inextlive