-रावतपुर के सुल्तानपुरिया गली में 10 साल के बच्चे के कत्ल का मामला

-पब्लिक के हत्थे चढ़े किशोर आरोपी और उसके पिता को जेल भेजा गया

-कोर्ट के बाहर किशोर ने कहा, मैंने तो बचाने की कोशिश की थी, कत्ल तो किसी और ने किया

KANPUR : रावतपुर में मुर्गे की टांग तोड़ने और रुपए हड़पने के विवाद में हुए मासूम अर्श के कत्ल में सरफराज दो और नाबालिग शामिल हैं। पुलिस ने पब्लिक के हत्थे चढ़े नाबालिग को पिता समेत गुरुवार को जेल भेज दिया, लेकिन वो खुद को बेकसूर बता रहा है। उसके मुताबिक इलाके के दो नाबालिग शातिरों ने मासूम का कत्ल किया है। वो सिर्फ शातिरों के बहकावे में मासूम को घटनास्थल तक ले गया था। उसे तो पता ही नहीं था कि शातिर उसका कत्ल कर देंगे। यही नाबालिग के पिता का भी कहना है। वहीं, पिटाई के डर से आरोपी किशोर की मां बच्चों को लेकर कहीं और चली गई। उसके घर पर ताला लगा है।

लड़कों के बहकावे में आ गया था

रावतपुर के सुल्तानपुरिया गली में रहने वाले शमीम अहमद सब्जी का ठेला लगाते हैं। बुधवार को उनके बेटे अर्श (10) की हत्या कर दी गई थी। हत्यारों ने उसके शव को जमीन में दफना दिया था। जिसका पता चलने पर परिजन समेत इलाकाई लोग भड़क गए। गुस्साए लोगों ने आरोपी सरफराज (15) के घर पर धावा बोलकर मारपीट और आगजनी कर दी। पुलिस ने मौके पर जाकर आरोपी सरफराज और उसके पिता मोईन खान को हिरासत में ले लिया, जबकि उसकी मां बच्चों को लेकर घर से भाग गई। गुरुवार को पुलिस ने सरफराज और उसके पिता मोईन को रिमाण्ड कराकर जेल भेज दिया। कोर्ट के बाहर सरफराज ने कत्ल की सच्चाई बयां की। उसने बताया कि अर्श तो उसका सबसे अच्छा दोस्त था। वो इलाके के दो लड़कों के बहकावे में साइकिल से अर्श को जंगल में ले गया था।

हाथ से पकड़ ली थी चाकू

जंगल में वो अर्श के साथ उन दो लड़कों से बात कर रहा था कि उन दोनों लड़कों ने चाकू से हमला बोल दिया। दोनों लड़कों का अर्श से झगड़ा चल रहा था। दोनों ने चाकू से अर्श पर ताबड़तोड़ वार किए। उसने खुद की सफाई देते हुए कहा कि मैंने तो अर्श को बचाने की कोशिश की थी। उसने हथेली में लगे चाकू के घाव को दिखाते हुए कहा कि मैंने तो अर्श को बचाने के लिए हाथ से चाकू पकड़ ली थी। जिससे उसके हाथ में घाव लग गया था। उसने खुद को बेकसूर बताते हुए कहा कि अगर मैंने कत्ल किया होता तो मै अर्श के घरवालों को उसके कत्ल के बारे में क्यों बताता?

चाकू से ताबड़ताेड़ 11 वार

नाबालिग शातिरों ने अर्श की नृशंस हत्या की है। उन्होंने अर्श पर चाकू से ताबड़तोड़ 11 वार किए थे। हत्यारों ने अर्श के बेसुध होने के बाद चाकू से उसका गला रेत दिया। जिससे उसकी मौत हो गई थी। अर्श ने जान बचाने के लिए हमलावरों से मोर्चा लेने की भी कोशिश की थी। इसकी पुष्टि उसकी हथेली में मिले चाकू से घाव से हो रही है। डॉक्टर्स के मुताबिक हथेली में चाकू के घाव से पता चलता है कि उसने जान बचाने के लिए चाकू को हाथ से पकड़ लिया था। हमलावरों ने अर्श के कंधे के पीछे दांत से कांटा भी था।

जेल जाते हुए बेटे को कोस रहा था मोईन

'इससे अच्छा होता कि मैं तुमको पैदा होते ही मार देता। तुम्हारे गुनाह की सजा मुझे मिल रही है। मैंने तो कुछ किया भी नहीं है। इसके बाद भी पुलिस ने मुझे से अर्श के कत्ल में फंसाकर जेल भेज दिया.' सरफराज का पिता मोईन कोर्ट में यह बड़बड़ा रहा था। वो रोते हुए सरफराज से बोल रहा था कि तुमने सब बर्बाद कर दिया। इतनी मेहनत से मैंने घर बनाया था। तुम्हारी अम्मी और भाई कहां और किस हाल में होंगे।

Posted By: Inextlive