-सदर बाजार निवासी सैयद नुसरत नकवी ने मकान का यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी से कराया था बीमा

-पेड़ की टहनी से क्षतिग्रस्त हुआ था मकान, कंपनी ने क्षतिपूर्ति देने से किया था इनकार

-सदर बाजार निवासी सैयद नुसरत नकवी ने मकान का यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी से कराया था बीमा

-पेड़ की टहनी से क्षतिग्रस्त हुआ था मकान, कंपनी ने क्षतिपूर्ति देने से किया था इनकार

BAREILLYBAREILLY:

मकान का बीमा कर क्षतिग्रस्त पूर्ति नहीं देने वाली बीमा कंपनी यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी पर कंज्यूमर फोरम ने 79 हजार रुपए का जुर्माना लगा दिया। कोर्ट ने बीमा कंपनी को आदेश दिया कि वह पीडि़त को जुर्माना राशि का ब्भ् दिन के अंदर भुगतान कर दे, अन्यथा निर्णय की तिथि से वसूली की डेट तक 7 प्रतिशत वार्षिक साधारण ब्याज देना होगा।

क्म् जून को हुआ था हादसा

शहर के 80भ्-टी सदर बाजार कैंट निवासी सैयद नुसरत हुसैन नकवी ने दायर किए केस में बताया कि उन्होंने यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी से मकान का बीमा क् जून ख्0क्म् को कराया था जो फ्क् मई ख्0क्7 तक मान्य था। बीमा कंपनी ने शर्तो में बताया कि बीमा पॉलिसी लेने के बाद आगजनी, बिजली गिरने, एयरक्राफ्ट से नुकसान, दंगा, हड़ताल, किसी के दोषपूर्ण कृत्य से क्षति, तूफान, साइक्लोन, टाइफून, टैम्पेस्ट, हरिकेन, टोरेन्डो, बाढ़, जल प्लावन, किसी वाहन या जानवर से किया गया नुकसान, जमीन का धंसाव, भूस्खलन, चट्टान स्खलन, वाटर टैंक से रिसाव या फटने से व मिसाइल परीक्षण से बीमित मकान को नुकसान होने पर क्षविपूर्ति मिल सकती है। क्म् जून को शाम तेज हवा चलने के कारण नीम के पेड़ की टहनी टूट कर सैयद नुसरत हसैन नकवी के मकान पर गिर गई जिससे मकान क्षतिग्रस्त हो गया। नसुरत हुसैन ने बीमा कंपनी को मकान क्षतिग्रस्त होने की सूचना दी जिस पर सर्वेयर मौके पर पहुंचा, लेकिन बीमा कंपनी ने क्षतिपूर्ति देने से इनकार कर दिया। बीमा कंपनी ने बताया कि यहां पर पेड़ की टहनी गिरी थी इसीलिए बीमा कंपनी इसके लिए क्षतिपूर्ति नहीं दे सकती।

कोर्ट ने सुनाया फैसला

कंज्यूमर फोरम के अध्यक्ष घनश्याम पाठक ने केस पर सुनवाई करते हुए माना कि बीमा पॉलिसी यह कहते हुए दी कि आगजनी, साइक्लोन और तूफान आदि की स्थिति में क्षतिपूर्ति दी जाएगी, लेकिन यहां अचानक तेज हवा के कारण पेड़ की टहनी टूटकर गिरी है इसीलिए बीमा कंपनी को क्षतिपूर्ति मकान मालिक को देनी चाहिए। कितनी क्षतिपूर्ति दी जाए इस पर निर्णय के लिए दोनों पक्षों को कोर्ट ने बुलाया। बीमा कंपनी की तरफ से 80 हजार रुपए जबकि मकान मालिक ने 8 लाख की क्षतिपूर्ति का दावा किया। इसके बाद फोरम अध्यक्ष ने कहा कि क्षतिग्रस्त मकान को कोई नक्शा नहीं था, इसीलिए मकान पहले कैसा और कितना पुराना था इसका अंदाजा लगाना मुश्किल है। इस पर कोर्ट ने बीमा कंपनी पर भ्ख् हजार रुपए जुर्माना लगाते हुए ब्भ् दिन में जुर्माना अदा करने का आदेश दिया है। इसके साथ केस में खर्च की गई ब् हजार रुपए और मानसिक क्षति के फ् हजार रुपए अतिरिक्त देने का भी आदेश दिया है।

Posted By: Inextlive