काफी टाइम पहले बीसीसीआई की पॉवर की लड़ाई से साइड लाइन किए जा चुके फॉरमर BCCI प्रेसिडेंट जगमोहन डालमिया एक बार फिर सेंटर में आने के लिए कमर कस रहे हैं और इसके लिए उन्हें इंतजार है अरुण जेटली के सर्पोट करने के इशारे का.


सुप्रीम कोर्ट ने जबसे एन. श्रीनिवासन के क्रिकेट कंट्रोल र्बोड ऑफ इंडिया के लिए चुनाव लडऩे पर रोक लगाई है उसके बाद से ही BCCI में पॉवर हासिल करने को लेकर हलचल तेज हो गई है और हर ग्रुप अपनी स्ट्रेटजी प्लान कर रहा है. इस चक्कर में सभी की निगाहें अरुण जेटली पर टिक गई हैं. भारतीय जनता पार्टी से जुड़े होने के कारण कम से कम आठ वोट्स को इफेक्ट करने वाले जेटली ऐसे में BCCI की आने वाली एन्युअल जनरल मीटिंग में इंर्पोटेंट रोल प्ले कर सकते हैं.


इस बीच श्रीनिवासन ने इस मुद्दे पर रिएक्शन देने से इन्कार कर दिया और पता चला है कि तमिलनाडु को बिलांग करने वाला ये एडमिनिस्ट्रेटर सुप्रीम कोर्ट के ऑर्डर को डिटेल में स्टडी कर रहा है. सस्पेंडेट प्रेसिडेंट श्रीनिवासन को ईर्स्टन जोन से प्रपोजर और सेकेंडर की जरूरत होगी क्योंकि इस बार प्रेसिडेंट चुनने की बारी इस जोन की है. यही वजह है कि ईर्स्टन जोन की बारी को देखते हुए ICC और BCCI के फॉरमर प्रेसिडेंट जगमोहन डालमिया अपने लंबे एक्सपीयरेंस के कारण एंटरिम प्रेसिडेंट शिवलाल यादव के साथ स्ट्रांग कन्टेंडर के रूप में उभरे हैं.

डालमिया जानते हैं कि इस टाइम उनकी कोई हेल्प कर सकता है तो वो जेटली ही हैं. एज BCCI प्रेसिडेंट उनके खाते में कई अचीवमेंट है. जिसमें सबसे बड़ा प्वाइंट तो यही है कि उन्होंने इंटर नेशनल लेबल पर BCCI को उसकी प्रेजेंट पोजीशन दिलवाया और उसे सबसे धनी क्रिकेट र्बोड्स में से एक बनाया.

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Posted By: Molly Seth