चढ़ा पारा, हांफे लौहनगरी के लोग
JAMSHEDPUR: स्टील सिटी में मंगलवार को साल का सबसे गर्म दिन रहा जब पारा 40.7 डिग्री सेंटीगे्रट के पार पहुंच गया। तेज धूप और गर्म हवाओं के चलते जनजीवन बेहाल हो गया। मौसम विभाग के आंकड़ों के अनुसार तीन चार दिन तक शहर में ऐसे ही आफत बरसेगी। मंगलवार को एक दर्जन से अधिक लोग हीट स्ट्रोक की चपेट में आकर अस्पताल पहुंचे। इसमें राहगीर अधिक शामिल थे। हवाओं के थपेड़ों ने राहगीरों के लिए मुश्किलें खड़ी कर दी हैं। कोल्हान के सबसे बड़े अस्पताल एमजीएम में हीट स्ट्रोक के सात मरीज पहुंचे। वहीं टीएमएच मे पांच, मेडिका में तीन, मर्सी में चार सहित अन्य अस्पताल में भी मरीज पहुंचे। छोटे बच्चे, बूढ़े और महिलाएं सभी गर्मी की मार से बेहाल है। भीषण तपन के चलते लोगों का घरों से निकलना ही मुश्किल हो गया है। एमजीएम अस्पताल के डॉक्टर अनुकरण पूर्ति ने कहा कि लू लगने पर शरीर में पोटैशियम, सोडियम जैसे साल्ट्स और पानी की भारी कमी हो जाती है।
एक सप्ताह का संभावित तापमान दिन न्यूनतम अधिकतम 8 मई 26.4 40.79 मई 26 41
10 मई 25 40 11 मई 25 40 12 मई 25 41 13 मई 24 40 14 मई 24 38 बारिश के बाद मिलेगी राहत मौसम विभाग के आंकड़ों के अनुसार 13 मई और 14 मई को बारिश हो सकती है। लेकिन उससे पहले तीन से चार दिन मौसम और रुलाएगा। मौसम विभाग की माने तो शहर में बीच-बीच में हुई बारिश से गर्मी से राहत मिली थी। बारिश के साथ ही ओले गिरने की संभावना है। मौसम विभाग रांची के निदेशक बीके मंडल ने बताया कि बारिश के बाद लोगों को राहत मिल सकती हैँ।सडकों पर पसरा संन्नाटा
तेज धूप और उमस के चलते दोपहर बाद सड़कों पर सन्नाटा पसरा रहा। शहर के व्यस्तम जुबिली पार्क से रेडक्रास भवन रोड पर सन्नाटा पसरा रहा। गर्मी के चलते दुकानदार भी दुकानों के अंदर दुबके रहे। वहीं लोग धूप में सिर ढककर वह छाता लेकर निकले। तेज धूप और गर्मी से सड़कों से ठेलेवाले दुकानदार भी गायब मिले। शहर में पारा बढ़ने के साथ ही सतर्कता बरतने की जरूरत है। गर्मी में हीथ स्ट्रोक, हैजा, फूड प्वाइजिनिंग जैसी बीमारियां होने की संभावना ज्यादा रहती है। धूप में न निकले, बच्चों को गर्मी में न घूमने दे, तरल पदार्थ का सेवन अधिक करें, बाजार में ज्यादा मसालेदार और कटी हुई दूषित चीजें खाने से परहेज करें। -डॉ आरएल अग्रवाल, फिजीशियन, एमजीएम हास्पिटल लू लगने के बाद यह लक्षण आते हैं सामने - सिरदर्द, सिर चकराना, जी मिचलाना, बेहोशी। - अधिक प्यास, शरीर में भारीपन महसूस होता है। - कई बार शरीर का तापमान 105 डिग्री से ज्यादा हो जाता है। - पसीना आना बंद हो जाता है और त्वचा सूख जाती है। लू लगने पर क्या करें? - लू के रोगी को फौरन छायादार और ठंडी जगह ले जाना चाहिए।- रोगी के कपड़े को ढीला कर देना चाहिए।
- लू लगने पर त्वचा को गीले कपड़े से स्पंज करना चाहिए। - रोगी होश में हो तो उसे लगातार ठंडा पानी और जूस देना चाहिए। - फर्स्ट एड के बाद लू के रोगी को अस्पताल ले जाने में देर नहीं करनी चाहिए, क्योंकि लू से मौत भी हो सकती है।