Kanya Pujan 2020 आज और कल अधिकांश लोगों के यहां कन्या पूजन होगा ऐसे में सबके मन में कई सवाल हैं जैसे इस वर्ष कैसे करें कंजक पूजन। नवरात्रि के आठवें और नवें दिन हर माता का भक्त कन्‍याओं को बुलाकर उनका पूजन करता है। कहते हैं ऐसा करने माता दुर्गा प्रसन्न हो कर सुख समृद्धि का आर्शिवाद देती हैं। हर वर्ष इस तरह पूजन करने की ये परंपरा सदियों से चली आ रही है परंतु इस बार हालात कुछ अलग है क्योंकि कोरोनावायरस के प्रसार को रोकने के लिए देश में लॉकडाउन है और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन किया जा रहा है। आइए जानें ऐसे में कन्या पूजन कैसे होगा।

कानपुर। Kanya Pujan 2020: नौ दिन से चल रही देवी के नव रीप की पूजा का पर्व नवरात्रि अब पूर्ण हो रहा है। अपने अपने परिवार की परंपरा के अनुसार अष्टमी या नवमी को देवी स्वरूपा नौ कंजकों की पूजा करके इसे पूरा करेंगे। इस चैत्र नवरात्र 2020 में बुधवार 1 अप्रैल को अष्टमी है और गुरुवार को 2 अप्रैल नवमी होगी। दोनों ही दिनों पर कन्या पूजन किया जा तकता है। इस अवसर पर ग्रहस्थ नौ कन्याओं और एक बालक को बुला कर उनको देवी स्वरूप मान कर पूजा करते हैं और भोजन करा कर दान दक्षिणा आदि देते हैं। इस बार भी देवी आराधना करने वाले अष्टमी और नवमी को कन्‍या पूजन करेंगे। ऐसे में उनके सामने सबसे बड़ा प्रश्न ये है कि जब कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप के कारण सभी अपने घरों में कैद हैं, कन्यायें आयेंगी कैसे और आप उन्हें बुलायेंगे कैसे। । सोशल डिस्टेंसिंग की वजह से कोई मंदिर भी नहीं खुला है जहां जा कर आप कन्याओं के निमित्त दान कर सकें। ऐसे में पंडित विजय त्रिपाठी विजय के अनुसार सांकेतिक कन्‍या पूजन कर नवरात्र आराधना पूर्ण की जानी चाहिए।

कैसे होगी सांकेतिक पूजा

पंडित जी ने कहा कि जिस भी दिन आप कन्या पूजन करते हैं अष्टमी या नवमी को उस दिन सारे विधि विधान सामान्य रूप से ही करें, बस कन्या पूजन के लिए इस विषेश नियम का पालन करें। इस दिन कन्याओं के ना पर जितना भी धन आप खर्च करने की क्षमता रखते हों उसे सात या नौ भागों में बांट कर लिफाफे बना दें और संकल्प करके घर के पूजा स्थल पर रख दें उसके बाद यदि संभव हो तो उसी दिन या बाद में स्थितियां सामान्य होने पर उन्हें कन्याओं को अर्पित कर दें। बाकी पूजन को हमेशा के विधान के अनुसार घर में ही पूर्ण करके माता की आराधना करें औऱ आर्शिवाद प्राप्त करें।

कब है अष्टमी और नवमी

चैत्र नवरात्रि के आठवें दिन अष्टमी और नौवें दिन नवमी मनाई जाती है जो कि इस बार 1 अप्रैल 2020 और 2 अप्रैल 2020 पड़ रही हैं। 2 अप्रैल को ही राम नवमी भी मनाई जायेगी।अष्टमी को मां दुर्गा के आठवें रूप महागौरी और नवमी के दिन सिद्धिदात्री की पूजा होती है। पूजा के बाद नौ या सात कन्‍याओं और एक बालक को घर पर आमंत्रित उनको हलवा, पूरी और चने का भोग खाने के लिए दिया जाता है, साथ ही उन्‍हें उपहार और दक्षिणा भी अर्पित किए जाता है। दोनों दिन में से किसी एक ही दिन कन्‍या पूजन किया जाता है।

कन्‍या पूजन का विधान

पंडित दीपक पांडे के अनुसार इस मानक कन्‍या पूजन करें। इसके लिए सुबह स्‍नान कर भगवान गणेश और माता के स्वरूपों की पूजा करें। सामान्य रूप से इस दिन दो साल से लेकर 10 साल तक की नौ कन्‍याओं और एक बालक को आमंत्रित किया जाता है, परंतु इस लॉकडाउन के चलते मानक पूजन के लिए कन्याओं के स्थान पर पाटे पर नौ सुपारी रख कर उनकी पूर्ण विधि से पूजा करें और श्रद्धा अनुसार दक्षिणा चढ़ायें। इस राशि को ही अलग अलग लिफाफों में रख कर उचित समय आने पर कन्याओं को सौंप दें।

Posted By: Molly Seth