कर्नाटक में कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन की सरकार बचाने व बागी विधायकों को मनाने के लिए दोनों दल जी जान से जुटे है लेकिन विधायक अपनी जिद पर अड़े हैं। बागी विधायकों ने तो आज इस मामले में सुप्रीम कोर्ट का रुख कर दिया है।


नई दिल्ली (आईएएनएस)। कर्नाटक में कांग्रेस-जेडीएस के विधायकों ने बुधवार को विधानसभा अध्यक्ष केआर रमेश कुमार के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। विधायकों ने सुप्रीम काेर्ट में आरोप लगाया है कि विधानसभा अध्यक्ष अपने संवैधानिक कर्तव्य का पालन नहीं कर रहे हैं और जानबूझकर उनके इस्तीफे की स्वीकृति में देरी कर रहे हैं। गुरुवार इस मामले में हो सकती सुनवाईवहीं इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में सीजेआई रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ ने उन्हें आश्वासन दिया कि याचिका पर सुनवाई की जाएगी। सुप्रीम कोर्ट द्वारा इस मामले की सुनवाई गुरुवार को किए जाने की संभावना है। बता दें कि कल विधानसभा अध्यक्ष केआर रमेश कुमार ने कहा था कि इस्तीफा देने वालों में 8 विधायकों के इस्तीफे निर्धारित प्रारूप के मुताबिक नहीं हैं।  गठबंधन सरकार पर संकट के बादल


बता दें कि बीते शनिवार 6 जुलाई को कर्नाटक में जेडीएस-कांग्रेस की 13 महीने पुरानी गठबंधन सरकार शनिवार को 11 विधायकों के इस्तीफे के बाद मुसीबत में आ गई। इसके बाद से सीएम कुमार स्वामी समेत जेडीएस-कांग्रेस के वरिष्ठ नेता विधायकों को मनाने की काेशिश में जुटे हैं। सोमवार 8 जुलाई को कांग्रेस के 21 मंत्रियों ने भी कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया था।

कर्नाटक संकट : गठबंधन सरकार पर आफत, बुलाई कांग्रेस विधायक दल की बैठकविद्रोही विधायक मुंबई रवाना हो गए थेवहीं कांग्रेस भाजपा पर इस गठबंधन सरकार को गिराने की साजिश रचने का आरोप लगा रही है। इस्तीफा देने वाले विधायकों में रामलिंग रेड्डी, आनंद सिंह, रमेश जारकिहोली, बीसी पाटिल, एच विश्वनाथ, नारायण गौड़ा, एस हेब्बर, महेश कुमटल्ली, गोपालय्या, और प्रताप गौड़ा पाटिल शामिल हैं। वहीं इस्तीफे के बाद सभी विद्रोही विधायक मुंबई की ओर रवाना हो गए थे।

Posted By: Shweta Mishra