- राजधानी के तालाबों की हालत नहीं सुधरी अबतक

- बड़ा तालाब की हालत सबसे ज्यादा खराब

रांची। लोक आस्था का महापर्व छठ में अब सिर्फ चार दिन ही बाकी रह गए हैं। गुरुवार को नहाए खाए के साथ ही चार दिनों का यह महापर्व शुरू हो जाएगा। लोग इसकी तैयारी में जुट चुके हैं। छठ के बाजार भी सजने शुरू चुके हैं। एक ओर जहां सभी अपनी-अपनी तैयारी में लगे हैं, तो वहीं दूसरी ओर नगर निगम और जिला प्रशासन अपनी जिम्मेवारी नहीं निभा रहा है। छठ व्रती भगवान भास्कर को अ‌र्घ्य देने अलग-अलग छठ घाट पर उमड़ते हैं। लेकिन राजधानी के तालाबों की स्थिति ठीक नहीं है। अधिकांश तालाब में गंदगी पसरी है। नगर निगम ने भले ही कागज में तालाब साफ करने के आदेश दे दिए हों, लेकिन धरातल पर एक परसेंट भी काम नहीं हो रहा है।

श्रमदान कर सफाई करेंगे

शनिवार को पहला अ‌र्घ्य है। समय बहुत कम बचा है। लेकिन राजधानी के बड़ा तालाब की हालत देख कर ऐसा नहीं लग रहा कि यह तालाब महापर्व के लिए तैयार है। तालाब का आधे से भी अधिक हिस्सा जल कुंभियों से ढका है। तालाब की हालत देखने पहुंचे सांसद संजय सेठ ने भी इस पर चिंता जाहिर की। उन्होंने कहा कि ऐसे में कैसे हो पाएगा महापर्व। श्री सेठ ने कहा कि यदि संबंधित एजेंसी इसकी सफाई नहीं करेगी तो मैं खुद श्रमदान करने उतरुंगा और इसकी सफाई करुंगा।

हरमू तालाब की स्थिति भी ठीक नहीं

हरमू चौके के ठीक पीछे एक तालाब है, जहां लगभग पांच सौ लोग छठ करने आते हैं। लेकिन नगर निगम की ओर से इस तालाब की सफाई कभी नहीं कराई गई। पंचमुखी छठ पूजा समिति की ओर से डब्ल्यू शर्मा के नेतृत्व में तालाब की सफाई कराई जाती है। इस बार भी समिति के सदस्य लेबर लगा कर तालाब की सफाई करा रहे हैं। डब्ल्यू शर्मा ने बताया कि कई बार पार्षद अरुण झा से तालाब की सफाई कराने को कहा गया, लेकिन पार्षद ने इसे गंभीरता से नहीं लिया।

पूजन सामग्री से फैल रही गंदगी

जेल तालाब में जहां-तहां पूजन सामग्री फैली हुई है। दिवाली में पूजन के बाद बचे अवशेष को लोगों ने तालाब में लाकर प्रवाहित कर दिया। इससे अब यहां गंदगी फैलने लगी है। नगर निगम की ओर से तालाब की सफाई नहीं कराई जा रही है। जेल तालाब की सफाई की जिम्मेवारी सहायक अभियंता श्रीकांत का दिया गया है।

Posted By: Inextlive