- निगरानी विभाग ने विभागों और जिलों को उपलब्ध कराई भ्रष्ट लोक सेवकों की सूची

PATNA : विभिन्न विभागों के अधिकारियों और कर्मचारियों का प्रमोशन विभाग उनके कारनामों और आरोपों को देखकर ही लगाएंगे। राज्य असैनिक सेवा संवर्ग के पदाधिकारियों व कर्मियों को दिए जाने वाले प्रमोशन कि अब विभागों को निगरानी विभाग से स्वच्छता प्रमाणपत्र नहीं लेगी। निगरानी विभाग ने ख्0क्भ् के दौरान उन सभी पदाधिकारियों व कर्मचारियों की सूची उनके संबंधित विभागों व जिलों को उपलब्ध करा दी है, जिनके खिलाफ निगरानी अन्वेषण ब्यूरो अथवा विशेष निगरानी इकाई (एसवीयू) में मामले दर्ज किए गए हैं।

आरोपों को देखकर ही तय होगा प्रमोशन

अब संबंधित सभी विभाग और जिले निगरानी विभाग द्वारा उपलब्ध कराई गई इस सूची के आधार पर ही अपने पदाधिकारियों और कर्मचारियों को प्रोन्नति प्रदान कर सकते हैं। निगरानी विभाग ने वैसे पदाधिकारियों और कर्मचारियों की पूरी सूची संबंधित विभागों को उपलब्ध करा दी है, जिनके खिलाफ पिछले साल निगरानी में मामले दर्ज किए गए थे। इनमें करीब वैसे पदाधिकारी और कर्मचारियों का पूरा ब्योरा उपलब्ध है, जिन्हें निगरानी की टीम ने रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया था। इस सूची में वैसे पदाधिकारियों व कर्मचारियों के नाम भी उपलब्ध हैं जिनके खिलाफ निगरानी में आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने के मामले चल रहे हैं। अब इस सूची के आधार पर संबंधित विभागों को यह खुद तय करना है कि किस पदाधिकारी व कर्मचारी को प्रोन्नति दी जा सकती है और किसे नहीं।

भ् हजार लोकसेवक हुए थे गिरफ्तार

पिछले साल निगरानी की टीम ने तकरीबन पांच दर्जन लोकसेवकों को घूसखोरी करते रंगे हाथों गिरफ्तार किया था। जबकि इस अवधि में आय से अधिक संपत्ति करने वाले करीब डेढ़ दर्जन लोकसेवकों की काली कमाई को जब्त करने का मुकदमा भी दायर किया गया है। निगरानी विभाग ने कैलेंडर वर्ष ख्0क्भ् के दौरान घूस लेते रंगे हाथों पकड़े गए पदाधिकारियों व कर्मचारियों की सूची के अलावा उन लोकसेवकों की सूची सीडी सहित संबंधित विभागों को भेज दी है, जिनके खिलाफ निगरानी की विशेष अदालत में चार्जशीट दायर हो चुके हैं। इतना ही नहीं, निगरानी ने इन मुकदमों की अद्यतन स्थिति का ब्योरा भी अपनी सीडी में उपलब्ध कराया था।

Posted By: Inextlive