Lockdown 2.0 Guideline Agriculture and allied industries: केंद्र सरकार ने 3 मई तक चलने वाले लाॅकडाउन के बीच आर्थिक गतिविधियों की सूची जारी कर दी है। इन्हें 20 अप्रैल 2020 के बाद शुरू करने की परमीशन दी गई है। इसमें कृषि किसानों मछली पालन जैसे क्षेत्रों में छूट दी गई है।

नई दिल्ली (एएनआई)। Lockdown 2.0 Guideline: लाॅकडाउन 2.0 में किसानों के लिए बड़ी राहत देने के सिलसिले में, गृह मंत्रालय (एमएचए) ने बुधवार को दिशा-निर्देश जारी किए हैं। इसमें 20 अप्रैल से कृषि कार्यों और कृषि संबंधी गतिविधियों की अनुमति दी गई है, क्योंकि कोरोना को फैलने से रोकने वाला लाॅकडाउन आगामी 3 मई तक बढ़ गया है। दिशानिर्देशों के अनुसार, खेत में किसानों और खेत श्रमिकों द्वारा कृषि संचालन, कृषि उत्पादों की खरीद में लगी एजेंसियां, कृषि उपज बाजार समिति द्वारा संचालित मंडियां या राज्य द्वारा अधिसूचित मंडियां शामिल हैं। इसके अलावा किसानों / किसानों के समूह, किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ), सहकारिता आदि को सीधे लॉकडाउन से मुक्त किया गया है।

एग्रीकल्चर मशीनरी से जुड़ी दुकानें
एमएचए ने कहा कि राज्य और केंद्रशासित प्रदेश ग्रामीण स्तर पर खरीद-फरोख्त को बढ़ावा दे सकते हैं। एग्रीकल्चर मशीनरी से जुड़ी स्पेयर पार्ट्स और मरम्मत आदि से जुड़ी दुकाने भी 20 अप्रैल से खुली रहेंगी। एग्रीकल्चर मशीनरी और मैनुफैक्चरिंग, डिस्ट्रीब्यूशन, उर्वरक, कीटनाशकों और बीजों के खुदरा से संबंधित कस्टम हायरिंग सेंटर (सीएचसी) को भी छूट दी गई है। इसके अलावा बागवानी उपकरणों व कटाई और बुवाई से संबंधित मशीनों की राज्य के अंदर आवागमन की अनुमति दी गई है।

मछली व्यवसाय को मिली परमीशन

एमएचए ने मछली पकड़ने (समुद्री और अंतर्देशीय) / जलीय कृषि उद्योग के संचालन की अनुमति दी है जिसमें फीडिंग और रखरखाव, कटाई, प्रसंस्करण, पैकेजिंग, कोल्ड चेन, बिक्री और खरीद, हैचरी, फीड प्लांट, काॅर्मशियल एक्वैरिया और मछली / झींगा और मछली उत्पादन, मछली बीज / चारा जैसी सभी गतिविधियों के लिए श्रमिक की आवाजाही शामिल है। वृक्षारोपण में, केंद्र ने चाय, कॉफी और रबर के बागानों के संचालन की अनुमति दी है। इसके अलावा चाय, कॉफी, रबड़ और काजू के प्रसंस्करण, पैकेजिंग, बिक्री और खरीद में श्रमिकों को परमीशन दी गई है।

दूध प्रोसेसिंग प्लांट आदि चालू रहेंगे

दूध प्रोसेसिंग प्लांट द्वारा दूध और दूध उत्पादोंका संग्रह, डिस्ट्रीब्यूशन और बिक्री का काम जारी रहेगा। इसके अलावा पशुपालन फार्मों सहित मुर्गी फार्मों और हैचरी और पशुधन कृषि गतिविधि, पशु चारा निर्माण और चारा पौधों की आपूर्ति, जिसमें मक्के और सोया जैसे कच्चे माल की आपूर्ति और गौशालाओं सहित पशु आश्रयगृहों के संचालन की भी अनुमति दी गई है।

Posted By: Shweta Mishra