महाशिवरात्रि पर मनकामेश्वर व कोटेश्वर महादेव मंदिर में होगा विशेष आयोजन

उदया तिथि की वजह से चौदह को मनाया जाएगा महाशिवरात्रि

ALLAHABAD: भगवान शिव की अराधना का सबसे बड़ा पर्व महाशिवरात्रि फाल्गुन मास की कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी यानि चौदह फरवरी को मनाया जाएगा। हालांकि तेरह फरवरी की रात 10.22 बजे से चतुर्दशी तिथि लग जाएगी लेकिन उदया तिथि की वजह से पर्व चौदह फरवरी को मनाया जाएगा। शिवरात्रि के दिन मंदिरों में विशेष आयोजन किया जाएगा। मनकामेश्वर मंदिर व कोटेश्वर महादेव मंदिर में चारों प्रहर भस्म से भगवान शिव का श्रृंगार किया जाएगा। दारागंज स्थित दशाश्वमेध मंदिर में प्रबंध समिति की ओर से ब्रह्मा मुहूर्त व मध्य रात्रि को पंच द्रव्यों से रुद्राभिषेक कराया जाएगा।

भोर में होगा भस्म से श्रृंगार

मनकामेश्वर मंदिर और कोटेश्वर महादेव मंदिर में चारों प्रहर भस्म से भगवान शिव का श्रृंगार किया जाएगा। भोर में भस्म से दोनों मंदिरों में भगवान का श्रृंगार होगा। इसके बाद दोपहर बारह बजे, फिर रात आठ बजे और अंत में मध्य रात्रि बारह बजे भस्म से श्रृंगार होगा। यही नहीं मनकामेश्वर मंदिर प्रबंध समिति की ओर से मध्य रात्रि को कपाट बंद करने के बाद पंच द्रव्य से रुद्राभिषेक किया जाएगा।

मनकामेश्वर में रुद्राभिषेक नहीं

महाशिवरात्रि के दिन अति प्राचीन मनकामेश्वर मंदिर में रुद्राभिषेक की परमीशन नहीं दी जाएगी। मंदिर प्रबंध समिति ने निर्णय लिया है कि गत वर्ष भोर से लेकर देर रात तक मंदिर में हजारों की संख्या में भक्तों की मौजूदगी थी। इसलिए इस बार भी श्रद्धालुओं की भीड़ के मद्देनजर रुद्राभिषेक की अनुमति नहीं दी जाएगी।

इस बार महाशिवरात्रि पर भगवान शिव का विशेष तरीके से रुद्राभिषेक कराया जाएगा। भोर से लेकर मध्य रात्रि के बीच चारों प्रहर भस्म से भगवान का श्रृंगार किया जाएगा। सुरक्षा के लिए मंदिर परिसर में दस सीसीटीवी कैमरे की व्यवस्था की गई है।

श्रीधरानंद ब्रह्माचारी, प्रभारी मनकामेश्वर मंदिर

Posted By: Inextlive