सामूहिक विवाह समारोह में 37 जोड़ों ने लिए सात फेरे

परिजनों ने जताई 2ाुशी, कहा यह प्रथा समाज के प्रत्येक वर्ग को अपनाना चाहिए

ALLAHABAD: शादी विवाह समारोह में बढ़ता अनाप-शनाप 2ार्च और पैसे के साथ समय की बर्बादी पर लगाम लगाने का सबसे अच्छा विकल्प सामूहिक विवाह समारोह हैं। जैसे-जैसे समय बीत रहा है, तमाम संस्थाओं द्वारा सामूहिक विवाह समारोहों का आयोजन बड़ी सं2या में किया जा रहा है। इसमें आम जनमानस की 5ागीदारी 5ाी बढ़ रही है।

पैसे की बचत

बेनीगंज के रहने वाले आरके शर्मा ने हाल ही में अपनी बेटी की शादी की। सामान्य शादी में उनके सात ला2ा रुपए 2ार्च हो गए। ऐसे ही अन्य शादियों में 5ाी ला2ाों रुपए वर-वधू पक्ष के बर्बाद होते हैं। लेकिन, तमाम संस्थाओं के सामूहिक विवाह समारोहों में दोनों पक्ष का एक रुपए 5ाी नहीं लगता। पूरा 2ार्च संगठन और सामाजिक संस्थाएं वहन करती हैं। इससे गरीब और मजबूर के बच्चों का विवाह 5ाी आसानी से हो जाता है।

समय की बचत

अमूमन एक शादी में दो से तीन दिन का समय लग जाता है। इससे घर-परिवार सहित तमाम लोगों की उपस्थिति रहती हैं और कई जरूरी काम पेंडिंग हो जाते हैं। बच्चों की पढ़ाई से लेकर नौकरीपेशा को लंबा अवकाश लेना पड़ता है। जबकि, सामूहिक विवाह समारोहों में एक मंच के नीचे एक ही दिन में कई जोड़ों का विवाह हो जाता है। इससे हजारों लोगों का समय बच जाता है और जरूरी काम नहीं रुकते।

जाम से मु1ित

ज्योतिषाचार्य दिवाकर त्रिपाठी पूर्वाचली बताते हैं कि एक लगन में दस हजार से अधिक शादियां होती हैं। प्रत्येक बारात निकलने पर एक से डेढ़ किमी की रोड तकरीबन दो घंटे तक जाम रहती है। इससे जन जीवन अस्त व्यस्त होता है। जबकि, एक साथ कई बारात निकाले जाने से बार-बार जाम लगने की समस्या 5ाी 2ात्म हो जाती है।

बिजली की बचत

शादी समारोहों में 2ार्च होने वाली 5ारी 5ारकम बिजली की 2ापत की बचत 5ाी सामूहिक विवाह आयोजनों में होती है। आमतौर पर यह आयोजन दिन के उजाले में होते हैं जिससे अंधाधुंध लाइटिंग का 2ार्च बच जाता है। इसके अलावा डीजे में 2ार्च होने वाली बिजली की बचत 5ाी होती है। यह बात 2ाुद बिजली वि5ाग के अधिकारी 5ाी मानते हैं।

पर्यावरण की सुरक्षा

नियमानुसार 42 डेसीबल से अधिक ध्वनि मानव शरीर के लिए हानिकारक मानी जाती है। लेकिन शादियों में बजने वाले डीजे की आवाज से कई गुना अधिक होती है। इससे ध्वनि प्रदूषण फैलता है और बारातों में जलाए जाने वाले पटा2ाों के धुएं से हवा 5ाी जहरीली होती है। अगर इनसे बचना हो तो आदर्श तरीके से बारात ले जानी चाहिए और सामूहिक विवाह समारोह इसके बेहतर उदाहरण हैं।

इन्होंने पेश की मिसाल

लड़के पक्ष की ओर से आए हैं। अच्छा इंतजाम किया गया है। आजकल लड़के पक्ष का 5ाी ला2ाों रुपए 2ार्च हो जाता है। जबकि सामूहिक विवाह आयोजनों में बहुत से परिवारों का फालतू 2ार्च बच जाता है। यह एक अच्छा कदम है।

-सुरेश कुमार, चायल

मेरी लड़की की शादी हो रही है। एकल तौर पर शादी करने पर ला2ाों रुपए 2ार्च होता है। समय 5ाी बर्बाद होता है। अगर लड़का अच्छा है और रिश्ता तय हो गया है तो ऐसे आयोजनों के जरिए कन्यादान किया जाना चाहिए। इससे दहेज पर लगाम लगेगी।

-लल्लू साहू, मंझनपुर

इस विवाह समारोह में मेरे बेटे की शादी हो रही है। बहुत अच्छा इंतजाम किया गया है। यहां तीन दर्जन जोड़े हैं और स5ाी के अ5िा5ावक प्रसन्न हैं, 1योंकि उनका समय और पैसा दोनों बचा है। इससे शादियों में होने वाली अनाप-शनाप 2ार्च बचेगा।

-राम कुमार, पीपल गांव

जब ऐसे आयोजन के जरिए शादी होती है तो समाज आपके साथ 2ाड़ा होता है। कल को कुछ ऊंच नीच होने पर लोग आपका साथ देते हैं। यह आयोजन परिवारवाद से ऊपर उठकर सामाजिकता को बढ़ावा देता है।

-बचान, चायल

मेरी 5ातीजी की शादी है। निमंत्रण मिला है तो आया हूं। मेरी राय में सामूहिक विवाह आयोजन को अधिक बढ़ावा दिया जाना चाहिए। यह समाज की कई कुरीतियों को दूर करता है और बेहतर संदेश देता है।

-राधेश्याम, देवराजी कौशांबी

Posted By: Inextlive