- शहर की सफाई व्यवस्था को लेकर खुली नगर निगम की पोल

- महापौर ने फिर किया सफाई व्यवस्था में सुधार करने का वादा

मेरठ। केंद्र सरकार की ओर से स्वच्छ भारत मिशन के तहत किए गए स्वच्छ सर्वेक्षण 2017 में मेरठ नगर निगम की एक बार फिर पोल खुल गई। सर्वे रिपोर्ट में मेरठ 339वें नंबर पर रहा। आपको बता दें कि कुल 434 शहरों में सर्वे किया गया। इंदौर पहले नंबर पर रहा, जबकि यूपी का गोंडा अंतिम पायदान पर रहा।

ये थे मानक

केंद्र सरकार ने छह मानकों पर सर्वेक्षण कराया था। जिसमें सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट, एक्सेस ऑफ सेनीटेशन, कैपीसिटी बिल्डिंग एंड मॉनिटरिंग सिस्टम, ऑन साइट आब्जरवेशन, सिटीजन फीडबैक और ओडीएफ है।

3 हजार से फीडबैक

स्वच्छ सर्वेक्षण में केंद्र सरकार ने शहर में तीन हजार लोगों से फीडबैक लिया। सर्वेक्षण के जो मानक तय किए थे उनके बारे में लेागों से बातचीत की। स्वच्छ सर्वेक्षण के लिए टीम खुद मेरठ आई थी। टीम ने शहर में अनेक स्थानों को दौरा भी किया था।

स्मार्ट सिटी में पिछड़े

स्मार्ट सिटी को लेकर भी नगर निगम व कंसलटेंट कंपनी द्वारा शहर में तीन बार सर्वे किया जा चुका है, लेकिन इसके बावजूद नगर निगम की कार्यप्रणाली में कोई सुधार नहीं आया है। अब सवाल ये है कि अगर स्वच्छता सर्वे में मेरठ का 339 नंबर है तो किस तरह इसे स्मार्ट सिटी बनाया जा सकता है।

सर्वेक्षण की लिस्ट जारी हुई है अभी पता नहीं है। वैसे सफाई को लेकर अनेक कदम उठाए जा रहे हैं। कूड़ा से बिजली बनाने का प्लांट भी इसी साल शुरू हो जाएगा। प्लांट शुरू होते ही शहर में बहुत बदलाव दिखाई देगा।

-हरिकांत अहलूवालिया, महापौर नगर निगम

Posted By: Inextlive