एमएलएन मेडिकल कॉलेज में शुरू हुई एनएस1 एलाइजा जांच

दो सौ रुपए में होगा ब्लड टेस्ट, तीन दिन के बुखार में पकड़ जाएगा डेंगू

PRAYAGRAJ: अब डेंगू की जांच के लिए प्राइवेट लैब में एक हजार रुपए देने की जरूरत नही है। एमएलएन मेडिकल कॉलेज की माइक्रो बायलोजी लैब में यह जांच महज दो सौ रुपए में हो जाएगी। सबसे अहम कि महज दो से तीन दिन के बुखार में डेंगू की पहचान करना आसान होगा। इसके लिए लंबे समय के बुखार के बाद ही डेंगू का मामला सामने आता था। सरकारी लैब में यह जांच शुरू हो जाने के बाद मरीजों को खासा फायदा पहुंच रहा है।

एलाइजा लेवल की हो रही जांच

अभी तक मेडिकल कॉलेज की माइक्रोबायलोजी लैब में केवल डेंगू की आईजीएम जांच होती थी। जिसमें एक सप्ताह पुराना बुखार हो जाने के बाद एलाइजा जांच के जरिए डेंगू की पुष्टि की जाती थी। अब एनएस1 की जांच भी एलाइजा पद्धति पर शुरू की गई है। इसमें महज दो से तीन दिन के पुराने बुखार होने के बावजूद लक्षण प्रकट होने पर डेंगू की अधिकारिक पुष्टि होती है। हालांकि लोगों में इस जांच के शुरू होने की जानकारी नही होने अधिक लोग इसका लाभ नही ले पा रहे हैं। इस मशीन में एक साथ 90 लोगों का सैंपल चेक करने की सुविधा है।

प्राइवेट और सरकारी जांच में अंतर

प्राइवेट पैथोलाजी में एनएस1 जांच के मिनिमम एक हजार लगते हैं।

सरकारी लैब में यह जांच महज 200 रुपए में हो रही है।

सरकारी लैब में एनएस1 जांच एलाइजा पद्धति पर की जा रही है। जिससे डेंगू की अधिकारिक पुष्टि हो जाती है।

प्राइवेट लैब की जांच में एक समूह के वायरस का पता लगाया जाता है। जिसमें डेंगू के अलावा अन्य रोग भी पाजिटिव आ सकते हैं। जिसे डेगू बताकर इलाज किया जाता है।

प्राइवेट लैब में 8 से 10 घंटे में जांच रिपोर्ट मिलती है।

सरकारी लैब में 3 से 4 घंटे में जंाच रिपोर्ट सौंप दी जाती है।

लूट पर लगेगी लगाम

फिलहाल डेंगू के सीजन में प्राइवेट लैब ने लूट मचा रखी है। किट जांच के नाम पर एक हजार रुपए लिए जा रहे हैं। जबकि असलियत में किट का दाम पांच सौ रुपए से अधिक नही है। मरीजों को भी इस बात का अंदाजा नही होता कि उनके साथ क्या चल रहा है। इस जांच को सरकारी मान्यता भी नही है जबकि सरकारी एलाइजा जांच को ही डेंगू की अधिकारिक जांच माना गया है।

फिर मिले 29 मरीज

अपने पीक सीजन में डेंगू के रोजाना नए मरीज सामने आ रहे हैं। बुधवार को एक बार फिर 29 नए मरीज चिंहित किए गए। इनकी जांच पाजिटिव आई है। इसके बाद जिले में डेगू के अधिकारिक मरीजों की संख्या 449 हो गई है। सीएमओ डॉ। मेजर गिरिजाशंकर बाजपेई ने बताया कि टीमों की संख्या बढ़ाकर एंटी लार्वा स्प्रे कराया जा रहा है। फागिंग की जिम्मेदारी नगर निगम की है।

हमने इस साल से एनएस1 एलाइजा जांच शुरू की है। पहले डेंगू की पुष्टि दो से तीन दिन के बुखार में नही हो पाती है। लेकिन अब यह संभव हो गया है। लोग इसका लाभ कम पैसे में उठा सकते हैं।

प्रो। एसपी सिंह,

प्रिंसिपल, एमएलएन मेडिकल कॉलेज प्रयागराज

Posted By: Inextlive