मुंबई में मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए आरे कालोनी में पेड़ कटाई का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचने के बाद पेड़ काटने पर रोक लगा दी गई है। रातों रात काटे गए हजारों पेड़ों को लेकर लोग दुखी हैं। स्थानीय आदिवासी समुदाय के लोगाें ने तो गिरे पेड़ों को श्रद्धांजलि भी दी।


मुंबई (महाराष्ट्र) (एएनआई)। मुंबई में आरे काॅलोनी में रातों रात काटे गए 2 दो हजार से अधिक पेड़ों को लेकर लोग परेशान हैं।  इस दाैरान स्थानीय आदिवासी समुदाय के सदस्यों ने मंगलवार को आरे जंगल में गिरे हुए पेड़ों की हाथ से बनाई गई आकृतियों को फूलों की मालाएं  भेंट की। इसके अलावा समुदाय के सदस्यों ने मोमबत्तियां जलाईं और गिरे पेड़ों को श्रद्धांजलि दी।आरे कॉलोनी क्षेत्र में कोई भी पेड़ नहीं काटेगामुंबई मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (MMRCL) ने कहा कि उसने बाॅम्बे हाई कोर्ट के आदेश के बाद, ट्री अथॉरिटी की अनुमति को बरकरार रखते हुए  4-5 अक्टूबर को आरे जंगल में 2,185 पेड़ों पर कुल्हाड़ी चलाई। अब तक 2,141 पेड़ गिर गए हैं। एमएमआरसीएल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश का अनुपालन करते हुए वह आरे कॉलोनी क्षेत्र में कोई भी पेड़ नहीं काटेगा।  हम सुप्रीम कोर्ट के आदेश का सम्मान करते
एमएमआरसीएल के प्रवक्ता ने कहा हम सुप्रीम कोर्ट के आदेश का सम्मान करते हैं। आरे मिल्क कॉलोनी में भविष्य में पेड़ की कोई कटाई नहीं की जाएगी। वहीं पहले से ही गिरे पेड़ों को हटाने का काम जारी रहेगा। बता दें कि दो दिन पहले सुप्रीम कोर्ट ने महाराष्ट्र सरकार को आदेश दिया कि आरे कॉलोनी में किसी भी पेड़ को न काटा जाए। अगले आदेश तक यथास्थिति बनाए रखें।23,846 पेड़ लगाए और 25,000 पौधे बांटेएमएमआरसीएल का कहना है कि उसने पहले ही 23, 846 पेड़ लगाए हैं। इसके अलावा 25,000 पौधे वितरित किए हैं। पिछले हफ्ते बाॅम्बे हाई कोर्ट कोर्ट द्वारा पेड़ों की कटाई को चुनौती देने वाली सभी याचिकाओं को खारिज करने के बाद रातों रात यहां पर पेड़ों की कटाई शुरू कर दी गई थी। इस दाैरान लोग सड़कों पर उतर आए। पूरे क्षेत्र में विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया था।

Posted By: Shweta Mishra