निर्भया सामूहिक दुष्कर्म और हत्या मामले के चारों दोषियों को 1 फरवरी को फांसी दी जाएगी। दोषी फांसी से बचने के लिए आए दिन एक नया पैतरा आजमाते हुए नजर आ रहे हैं। इसी बीच दोषियों में से एक मुकेश सिंह ने सुप्रीम कोर्ट से राष्ट्रपति के दया याचिका खारिज होने के खिलाफ एक याचिका दायर कर तुरंत उसपर सुनवाई की मांग की थी। बताया जा रहा है कि सुप्रीम कोर्ट में मंगलवार को दोपहर 12:30 बजे इसपर सुनवाई होगी।


नई दिल्ली (पीटीआई)। राष्ट्रपति रामनाथ रामनाथ कोविंद ने पिछले महीने निर्भया सामूहिक दुष्कर्म और हत्या मामले के एक दोषी मुकेश सिंह की दया याचिका खारिज कर दी थी। इसको लेकर मुकेश ने सोमवार को सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया और राष्ट्रपति द्वारा उसकी दया याचिका को खारिज करने के खिलाफ अपनी याचिका पर तत्काल सुनवाई की मांग की। इस मामले पर गौर करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने दोषी मुकेश के वकील से सोमवार को अपने उल्लेख अधिकारी के समक्ष याचिका का उल्लेख करने के लिए कहा। कोर्ट ने कहा कि अगर किसी को फांसी दी जा रही है तो इससे ज्यादा जरूरी कुछ नहीं हो सकता है।Nirbhaya Case: दोषी पवन गुप्ता ने अब सुप्रीम कोर्ट में दायर की SLP, दावा अपराध के समय वह नाबालिग था दोपहर 12:30 बजे होगी सुनवाई
अब तीन जजों की पीठ मंगलवार को मुकेश की याचिका पर सुनवाई करेगी। सुनवाई दोपहर 12:30 बजे शुरू होगी। जस्टिस आर बानुमति, अशोक भूषण और ए एस बोपन्ना की पीठ इस याचिका पर सुनवाई करेगी। 32 वर्षीय सिंह की दया याचिका 17 जनवरी को राष्ट्रपति द्वारा खारिज कर दी गई थी। मुकेश सिंह उन चारों दोषियों में से एक है, जिन्हें 2012 में निर्भया सामूहिक दुष्कर्म और हत्या मामले को लेकर 1 फरवरी को सुबह छह बजे फांसी दी जानी है। बता दें कि 16 दिसंबर, 2012 की रात को दिल्ली में एक चलती बस में 23 साल की पैरामेडिकल छात्रा के साथ 6 लोगों ने सामूहिक दुष्कर्म करने के साथ ही उसे चलती बस से बाहर फेंक दिया था। उपचार के दाैरान उसकी माैत हो गई थी। आरोपियों में से एक नाबालिग था और एक किशोर न्याय अदालत के सामने पेश हुआ, जबकि एक अन्य आरोपी ने तिहाड़ जेल में आत्महत्या कर ली। बाद में अदालत ने चार दोषियों को फांसी की सजा सुनाई।

Posted By: Mukul Kumar