--15 वर्ष सेवा पूरी करने वाले शिक्षकों को होगा फायदा

--जैक की मान्यता समिति ने किया अनुमोदन

रांची : इंटर कॉलेज के शिक्षकों के लिए खुशखबरी। जिन शिक्षकों की सेवा 15 वर्ष हो चुकी है,उनके लिए बीएड की अनिवार्यता नहीं होगा। राज्य बनने के बाद पहली बार इंटर कॉलेज शिक्षक- शिक्षकेतर कर्मचारी सेवा शर्त नियमावली-2018 को जैक की मान्यता समिति ने अनुमोदित कर दिया है। मंगलवार को जैक अध्यक्ष डॉ। अरविंद प्रसाद सिंह की अध्यक्षता में परिषद की मान्यता समिति की बैठक में शिक्षकों व कर्मचारियों के हित में कई निर्णय लिए गए। बीएड की अनिवार्यता का शिक्षक विरोध कर रहे थे। इसमें कहा गया है कि जिस दिन से यह नियमावली लागू होगी, उससे 15 वर्ष से पहले जिनकी नियुक्ति हुई है, उनके लिए बीएड अनिवार्य नहीं होगा।

बैठक में सात स्कूलों व कॉलेजों को स्थापना अनुमति तथा आठ की प्रस्वीकृति की अनुशंसा सरकार से की गई। प्रस्वीकृति की मानक शर्त पूरा नहीं करने वाले आठ मदरसों की प्रस्वीकृति रद करने तथा आठ विद्यालयों व तीन इंटर कॉलेजों की स्थापना अनुमति रद करने का भी निर्णय हुआ। बैठक में विधायक सह सदस्य अनंत ओझा, सचिव रजनीकांत वर्मा, अजय गुप्ता, हरमिंदर वीर सिंह व डॉ.पुष्कर बाला थे।

अब जैक करेगा शिक्षकों की नियुक्ति

सेवा शर्त नियमावली के अनुसार कॉलेज के शासी निकाय किसी भी शिक्षक या कर्मचारी को बिना जैक बोर्ड की अनुमति के नहीं हटा सकता है। इतना ही नहीं कॉलेज में नई नियुक्ति के लिए जैक बोर्ड का अनुमोदन जरूरी हो जाएगा। नियुक्ति के अनुमोदन के लिए बनी कमेटी में आरडीडीई, परिषद के एक सदस्य व दो विषय विशेषज्ञ होंगे।

सेवानिवृत्ति उम्र 60 वर्ष होगी

इंटर कॉलेजों में जो भी नियुक्ति होगी, वह वर्ष 2009 के मानक के अनुसार होगी। इसके तहत प्राचार्य, हर विषय के एक-एक शिक्षक, भाषा साहित्य में दो-दो शिक्षक होंगे। इसके अलावा किसी विषय में 128 से अधिक विद्यार्थी होने पर अतिरिक्त शिक्षक की नियुक्ति की जा सकती है। सेवा शर्त नियमावली के अनुसार शिक्षकों की सेवानिवृत्ति 60 वर्ष में होगी। यदि कॉलेज का शासी निकाय चाहे तो वित्त व कार्मिक के नियम के तहत सेवा विस्तार दे सकता है। नियमावाली में शिक्षकों को दंड का प्रावधान भी है। कॉलेज में तृतीय व चतुर्थ वर्गीय कर्मचारियों की नियुक्ति विज्ञप्ति के माध्यम से होगी।

नौ हजार शिक्षाकर्मियों को लाभ

सेवा शर्त नियमावली लागू होने से 200 स्थायी प्रस्वीकृति प्राप्त व 130 स्थापना अनुमति प्राप्त इंटर कॉलेजों के करीब नौ हजार शिक्षाकर्मियों को लाभ होगा। इसके लिए वित्तरहित शिक्षा संयुक्त संघर्ष मोर्चा लंबे समय से संघर्ष कर रहा था। नियमावली के अनुमोदन के बाद मोर्चा के रघुनाथ सिंह, सुरेंद्र झा, हरिहर कुशवाहा, अरविंद सिंह, देवनाथ प्रसाद, मनीष कुमार, विनोद कुमार आदि ने जैक अध्यक्ष व सचिव को धन्यवाद दिया है।

Posted By: Inextlive