भारत को पहला वर्ल्डकप दिलाने वाले पूर्व कप्तान कपिल देव के लिए 18 जून का दिन कभी नहीं भूलने वाला है। इस दिन कपिल ने अपने क्रिकेट करियर की सबसे बड़ी पारी खेली। मगर अफसोस कि उस मैच को कोई टीवी पर नहीं देख सका।

कानपुर। 18 जून 1983 को वर्ल्डकप का एक मुकाबला भारत बनाम जिंबाब्वे के बीच खेला जा रहा था। इस विश्वकप में टीम इंडिया को सबसे कमजोर माना जा रहा था। कपिल देव की कप्तानी में भारत ने टॉस जीतकर पहले बैटिंग करने का निर्णय लिया। भारत की शुरुआत अच्छी नहीं रही। 15 रन के भीतर ही आधी भारतीय टीम पवेलियन लौट चुकी थी। ऐसे में कपिल देव क्रीज पर उतरे और उन्होंने हालात को समझते हुए एक कप्तानी पारी खेली। कपिल ने इस मैच में 138 गेंदों में 175 रन बनाए थे। यह उनके करियर का सर्वश्रेष्ठ व्यक्तिगत स्कोर भी है। भारत ने जिंबाब्वे के सामने 267 रन का टारगेट रखा लेकिन जिंबाब्वे यह मैच 31 रन से हार गया था।

🌟 Runs: 175* (138)
🌟 Fours: 16
🌟 Sixes: 6#OnThisDay against Zimbabwe in 1983, Kapil Dev smashed the first century in ODIs for 🇮🇳 in the men's @cricketworldcup 🙌 pic.twitter.com/2r2Mu7l26j

— ICC (@ICC) June 18, 2020


वनडे में एकमात्र शतक, जो रिकाॅर्ड नहीं हुआ
भारतीय टीम के सर्वश्रेष्ठ ऑलराउंडर रहे कपिल देव ने कुल 225 वनडे मैच खेले हैं लेकिन उन्होंने सिर्फ एक शतक ही लगाया है और वो भी जिंबाब्वे के खिलाफ। अन्य किसी भी टीम के खिलाफ वह एकदिवसीय मैच में कभी भी शतक नहीं लगा पाए। हालांकि उन्होंने 14 अर्धशतक लगाए हैं। इतना खास होने के बावजूद कपिल के इस वनडे शतक का लाइव ब्राॅडकाॅस्ट नहीं हुआ था। दरअसल जिस दिन भारत बनाम जिंबाब्वे के बीच ये मैच खेला गया, उस दिन बीबीसी की स्ट्राइक थी। ऐसे में किसी भी कैमरे से कपिल की पारी को रिकाॅर्ड नहीं किया गया।

🗓️ #OnThisDay in 1983, 📍Tunbridge Wells @therealkapildev played one of the greatest World Cup innings smashing 175* off 138 balls against 🇿🇼#TeamIndia 🇮🇳 pic.twitter.com/aMgDiRQO7j

— BCCI (@BCCI) June 18, 2020


कपिल की कप्तानी में भारत ने सबको चौंकाया
1983 वर्ल्ड कप सबसे चर्चित विश्व कप में एक माना जाता है। इसकी वजह थी भारत का प्रदर्शन। उस वक्त टीम इंडिया को कोई भी वर्ल्ड कप का दावेदार नहीं मान रहा था। यहां तक कि भारतीय टीम के कुछ सदस्यों को भी अपनी जीत की उम्मीद नहीं थी। मगर एक बार टूर्नामेंट शुरु हुआ तो ग्रुप मैचों में भारत ने वेस्टइंडीज और ऑस्ट्रेलिया जैसी दिग्गज टीमों को पटखनी दी। भारत ने ग्रुप में 6 मैचों में 4 में जीत दर्जकर सेमीफाइनल में जगह बनाई जहां इंग्लैंड को 6 विकेट से हराकर पहली बार फाइनल का टिकट कटाया। बाद में फाइनल में भारत ने वेस्टइंडीज को हराकर पहली बार वर्ल्ड कप खिताब जीता।

Posted By: Abhishek Kumar Tiwari