प्रधानमंत्री ने रविवार को वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से 6 राज्यों के 763 गांवों में स्वामित्व योजना के अंतर्गत प्रॉपर्टी कार्ड के वितरण का शुभारंभ किया। स्वामित्व योजना ग्रामीणों को आत्मनिर्भर बनाने में बहुत मदद करने वाली है। पीएम मोदी ने कहा कि स्वामित्व योजना के तहत बने प्रॉपर्टी कार्ड को दिखाकर बैंकों से कर्ज बहुत आसानी से मिल जाएगा।


नई दिल्ली (एएनआई)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को 'सर्वे ऑफ विलेजेज एंड मैपिंग विद इम्प्रूव्ड टेक्नोलॉजी इन विलेज एरियाज' (SVAMITVA) योजना की शुरुआत की। इस अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि यह योजना देशभर के गांवों में ऐतिहासिक बदलाव लाएगी।इसका उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में ग्रामीण घरेलू मालिकों को 'रिकाॅर्ड ऑफ राइट्स' प्रदान करना और प्राॅपर्टी कार्ड जारी करना है। पीएम ने कहा कि आज जिन एक लाख लोगों को अपने घरों का स्वामित्व पत्र या प्रॉपर्टी कार्ड मिला है, जिन्होंने अपना कार्ड डाउनलोड किया है, उन्हें मैं बहुत-बहुत बधाई देता हूं। मुझे बहुत खुशी है कि आज इतना बड़ा काम उस दिन हो रहा है, जब भारत के दो-दो महान सपूतों की जन्म जयंती है।एक भारत रत्न लोकनायक जयप्रकाश नारायण और दूसरे भारत रत्न नानाजी देशमुख है। बैंक ऋण का लाभ उठाना होगा आसान
प्रधानमंत्री के साथ बातचीत के दौरान SVAMITVA योजना के लाभार्थियों ने केंद्र सरकार के प्रति आभार व्यक्त किया। इनका कहना था कि इस योजना से संपत्ति पर विवादों को कम करने में मदद मिलेगी और बैंक ऋण का लाभ उठाना उनके लिए आसान हो जाएगा। प्रधानमंत्री मोदी ने उन लोगों को बधाई दी जो मध्य प्रदेश, उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश सहित विभिन्न राज्यों के ग्रामीण इलाकों में रहते हैं। उत्तर प्रदेश के बाराबंकी के मूल निवासी राममिलन ने प्रधानमंत्री को बताया कि इस योजना से बैंक ऋण प्राप्त करना आसान हो जाएगा, जबकि उत्तराखंड के सुरेश चंद ने कहा कि संपत्ति का अधिकार मिलने से उन्हें राहत मिलेगी।गा्रमीण बोले बहुत सुरक्षित महसूस कर रहे वहीं बाराबंकी की रामरती ने कहा कि वे बहुत सुरक्षित महसूस कर रही हैं क्योंकि उन्हें संपत्ति के दस्तावेज मिले हैं। हरियाणा के यमुनानगर के मुमताज अली ने भी योजना के शुभारंभ पर प्रधानमंत्री को धन्यवाद दिया और कहा कि उन्हें संपत्ति कार्ड के आधार पर 3 लाख रुपये का ऋण प्राप्त हुआ है। SVAMITVA पंचायती राज मंत्रालय की एक केंद्रीय क्षेत्र योजना है, जिसे 24 अप्रैल, 2020 को राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस पर पीएम द्वारा शुरू किया गया था।6 राज्यों के 763 गांवों को मिल रहा लाभ


योजना के लाभार्थी उत्तर प्रदेश के 346, हरियाणा के 221, महाराष्ट्र के 100, मध्य प्रदेश के 44, उत्तराखंड के 50 और कर्नाटक के दो सहित 6 राज्यों के 763 गांवों के हैं। इस कदम से ग्रामीणों द्वारा ऋण और अन्य वित्तीय लाभ लेने के लिए संपत्ति को वित्तीय संपत्ति के रूप में उपयोग करने का मार्ग प्रशस्त होगा। इस योजना को चार साल (2020-2024) की अवधि में पूरे देश में लागू किया जा रहा है और यह देश के करीब 6.62 लाख गांवों को कवर करेगी।

Posted By: Shweta Mishra