बवाल की साजिश के पीछे मास्टरमाइंड कौन?

बवाल की साजिश के पीछे किसका हाथ, पुलिस तलाश रही सुराग

बवाल में पकड़े गए आरोपियों से पूछताछ कर रही है पुलिस

Meerut। कौन है वो शख्स जिसने शहर की फिजा को आग के हवाले कर लोगों को झुलसने पर मजबूर कर दिया। बवाल की साजिश के पीछे मास्टरमाइंड कौन है? इसका सुराग तलाशने में पुलिस की टीमें जुटी हैं मगर कोई सुराग अभी तक हाथ नहीं लग पाया है। अभी पुलिस के पास सुराग के नाम पर सिर्फ वहीं आरोपी हैं, जो बवाल के दौरान हत्थे चढ़े थे। पु्िलस उनसे पूछताछ कर किसी मास्टरमांइड तक पहुंचने में लगी है मगर 24 घंटे से ज्यादा बीत जाने के बावजूद नतीजा सिफर है। हालांकि, एसएसपी ने शहर को जलाने वाले मास्टरमाइंड की तलाश में इंटेलीजेंस को लगा रखा है।

किसने सुलगाया शहर?

जुमे की नमाज के बाद शहर सुलगना शुरू हो गया था, अभी तक तनावपूर्ण शांति बनी हुई है। घंटाघर, खत्ता रोड, लिसाड़ी गेट चौपला, जामा मस्जिद, हापुड़ रोड पर पथराव और बवाल देखने को मिला। न कानून का खौफ न पुलिस की लाठी का डर केवल पथराव और फायरिंग उपद्रवी कर रहे थे। उपद्रवियों की फायरिंग-पथराव को रोकने मे पुलिस नाकाम रही। ऐसे में सबसे बड़ा सवाल पुलिस प्रशासन के सामने यह खड़ा हुआ है कि बवाल करने के पीछे मास्टर माइंड कौन है? किसने उपद्रवियों को इतना ट्रेंड किया? किसने पत्थरबाजी और फायरिंग के लिए कहा, यह पता कराने में पुलिस प्रशासन पूरी तरह से नाकाम साबित हो रहा है। जो बवाल में पकड़े गए है, उनसे पूछताछ करने में भी मास्टर माइंड का नाम सामने अभी तक नहीं आ सका है।

उपद्रवियों के खिलाफ मुकदमा कायम कर लिया गया है। जिन आरोपियों को गिरफ्तार किया है, उनसे पूछताछ भी की जा रही है। साथ ही ये पता करने की भी कोशिश की जा रही है कि बवाल करने के पीछे किन-किन का हाथ है। एक टीम को आरोपियों पर कार्रवाई के लिए लगाया गया है।

डॉ। अखिलेश नारायण सिंह, एसपी सिटी

कहां से आए अवैध हथियार, जांच में जुटी पुलिस

बीते शुक्रवार को उपद्रवियों के एक हाथ में पत्थर तो दूसरे हाथ में तमंचे थे। सामने से बवाली पुलिस पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर रहे थे। इससे साफ था कि बड़ी तादाद में प्लानिंग के साथ उपद्रवियों ने बवाल की तैयारी कर रखी थी। अब सवाल यही उठ रहा है कि आखिर इतनी बड़ी संख्या में उपद्रवियों के पास अवैध हथियार कहां से आए। हालांकि पुलिस ने इस पहलू की जांच-पड़ताल शुरू कर दी है।

उपद्रवियों के पास अवैध हथियार

शुक्रवार को मेरठ में हुए बवाल के दौरान बवालियों के हाथों में लहरा रहे अवैध हथियार का सोर्स पता करना पुलिस-प्रशासन के लिए किसी चुनौती से कम नहीं है। इस बवाल से यह साफ हो गया है कि लिसाड़ी गेट में उपद्रवियों के पास बड़े पैमाने पर हथियार एकत्र है। पुलिस से ज्यादा हथियार उपद्रवियों के हाथ में थे, जिस कारण गोलियों की तड़तड़ाहट से हापुड़ रोड और खत्ता रोड गूंज उठी थी। इनके पास हथियार कहां से आए, कितने समय से हथियारों को इकट्ठा किया जा रहा था, इसकी जांच-पड़ताल में भी पुलिस-प्रशासन जुट गया है।

पकड़े गए है हथियार

बवाल के बाद पुलिस ने अपनी कार्रवाई भी करनी शुरू कर दी है। पुलिस अधिकारियों ने उपद्रवियों के पास से हथियार भी बरामद करने शुरू कर दिए है। बताया जा रहा है कि अभी तक 100 अवैध हथियार बरामद किए गए हैं। जिसमें तमंचे, कारतूस के साथ-साथ धारदार हथियार भी शामिल है। 100 के करीब हथियार अब तक पुलिस बरामद कर चुकी है।

कहां से आए हथियार

जिन हथियारों से शहर को जला दिया, आखिर यह हथियार किसने मुहैया कराए है, इसका स्टॉक कब से तैयार किया जा रहा था? यह पता करना पुलिस के लिए दूर की कौड़ी है, लेकिन पुलिस इस बिंदु पर भी जांच करने में जुटी हुई है।

यहां बनते हैं अवैध हथियार

किठौर के रार्धना और लिसाड़ी गेट क्षेत्र में बड़े पैमाने पर अवैध हथियार बनाए जाते हैं। यहां छोटी-छोटी फैक्ट्रियों में हथियार ही नहीं कारतूस तक बनाने में एक्सपर्ट काम करते हैं। कई बार यहां पर हथियार भी पकड़े जा चुके हैं और पुलिस हथियार बनाने वालों को जेल भी भेज चुकी है। पुलिस की तफ्तीश में फिलहाल ये सामने आ रहा है कि यहीं से जुटाए अवैध हथियारों को मेरठ के बवाल में इस्तेमाल में लाया गया।

मेरठ में 100 के करीब अवैध हथियार बरामद किए गए है। साथ ही चाकू और धारदार हथियार भी बरामद किए हैं। पुलिस अब आरोपियों की पहचान कर रही है। आरोपियों के खिलाफ कानूनी शिकंजा कसा जाएगा।

प्रशांत कुमार, एडीजी जोन मेरठ

Posted By: Inextlive