-घरेलू कनेक्शन लेकर दुकान में बिजली इस्तेमाल पर नहीं होगा एफआईआर

-पांच किलोवाट तक के घरेलू कनेक्शन पर केवल एसेसमेंट की है व्यवस्था

-ऊर्जा मंत्री ने पावर कॉरपोरेशन के निदेशक वाणिज्य को दिए निर्देश

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अगर आप डोमेस्टिक यानि घरेलू कनेक्शन लेकर घर में बनी दुकान में बिजली सप्लाई कर रहे हैं तो इसके लिए अब बिजली विभाग आप पर एफआईआर दर्ज नहीं करा सकेगा। उपभोक्ता घरेलू बिजली कनेक्शन से दुकान में बिजली जला सकेंगे। लेकिन उनसे चार्ज कॉमर्शियल वाला वसूला जाएगा। इस संदर्भ में ऊर्जा मंत्री की ओर से पावर कॉरपोरेशन के निदेशक वाणिज्य को निर्देश जारी किया गया है। ऊर्जा मंत्री ने कॉरपोरेशन की विजिलेंस विंग और अभियंताओं को अब ऐसा करने पर सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी है। उन्होंने कहा है कि पांच केवी तक के घरेलू कनेक्शनों में ऐसी स्थिति पर सिर्फ एसेसमेंट टैक्स बिल वसूला जाएगा।

बिजली चोरी नहीं कॉमर्शियल यूज

पीवीवीएनएल के एमडी गोविंद राजू एनएस ने बताया कि निगम को ऐसी कई शिकायतें मिल हैं कि चेकिंग के दौरान घरेलू उपभोक्ता जो अपने संयोजित भार का कुछ हिस्सा कॉमर्शियल इस्तेमाल में ले रहे हैं। इस पर उसके खिलाफ धारा 135 के तहत मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की जा रही है, जो कि गलत है। उन्होंने पूर्वाचल के सभी अधिशासी अभियंता वितरण एवं प्रवर्तन दल को निर्देश देते हुए कहा है कि यदि कोई उपभोक्ता अपने मकान के किसी हिस्से में बिजली का कॉमर्शियल इस्तेमाल करता है तो वह बिजली चोरी (धारा 135) में नहीं आता, बल्कि अनाधिकृत बिजली का प्रयोग माना जाएगा।

दोगुना रेट वसूला जाएगा

एमडी ने बताया कि यदि कोई उपभोक्ता घरेलू कनेक्शन पर मकान के किसी हिस्से में कॉमर्शियल बिजली का इस्तेमाल करता है तो विभाग उसे कॉमर्शियल मानते हुए एक साल में इस्तेमाल की गई बिजली का दोगुना दर से चार्ज वसूल करेगा। इसके साथ ही उस मकान में आगे आने वाले बिल को भी कॉमर्शियल रेट के हिसाब से वसूला जाएगा। अगर उपभोक्ता ऐसा नहीं चाहता तो उसे अलग से कॉमर्शियल कनेक्शन लेना होगा।

पहले था अपराध

विद्युत अधिनियम-2003 में हुए संशोधन के बाद विधा परिवर्तन को बिजली चोरी माना गया था। इससे वे सभी घरेलू उपभोक्ता बिजली चोरी के दायरे में आ गए थे, जिन्होंने अपने घर में बनी दुकान में घरेलू कनेक्शन से ही बिजली दे रखी थी। इसका बड़े पैमाने पर विरोध होने पर मामला केंद्र सरकार को भेजा गया था। जिसके बाद नियामक आयोग ने कानून बनाया कि पांच किलोवाट तक के घरेलू कनेक्शनों का मीटर अगर दुरुस्त है और मकान के किसी हिस्से में बनी दुकान में घरेलू कनेक्शन से बिजली यूज की जा रही है तो इसमें उस उपभोक्ता पर बिजली चोरी का मुकदमा न दर्ज कर विद्युत अधिनियम- 2003 की धारा-126 के तहत एसेसमेंट की कार्रवाई की जाएगी।

परिषद ने उठाया था मामला

उप्र राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद ने यह मामला उठाते हुए कहा था कि कानून में बदलाव के आठ साल बाद भी बिजली विभाग के कुछ अभियंता और विजिलेंस टीम छोटे उपभोक्ताओं पर बिजली चोरी का मुकदमा दर्ज करा रहे हैं। इसके बाद मामले को गंभीरता से लेते हुए ऊर्जा मंत्री ने उपभोक्ताओं को ऐसे मामलों में अनावश्यक परेशान न करने का निर्देश जारी किया।

वर्जन--

अब बिजली उपभोक्ता यदि घरेलू कनेक्शन लेकर घर में स्थित दुकान में कॉमर्शियल इस्तेमाल करते हैं तो उसे बिजली चोरी नहीं माना जाएगा। इसमें उसने सिर्फ एसेसमेंट टैक्स वसूला जाएगा।

गोविंद राजू एनएस, एमडी, पीवीवीएनएल

Posted By: Inextlive