- बीते चार अक्टूबर से हड़ताल पर थे ग्राम प्रधान

DEHRADUN: प्रदेश प्रधान संगठन की पंचायतीराज मंत्री अरविंद पांडे से सकारात्मक बातचीत व आश्वासन के बाद संगठन ने अपना आंदोलन स्थगित करने का निर्णय लिया है। ग्राम प्रधान चार सूत्रीय मांगों को लेकर बीते चार अक्टूबर से बेमियादी अनशन पर थे। शुक्रवार को प्रधान संगठन के प्रतिनिधिमंडल की विभागीय मंत्री अरविंद पांडे से उनके आवास पर वार्ता हुई। पंचायतीराज सचिव डी सेंथिल पांडियन की ओर से वार्ता के संबंध में विज्ञप्ति जारी की गई।

कैबिनेट में आएगा प्रस्ताव

ग्राम प्रधान संगठन के मुताबिक पंचायतीराज मंत्री के साथ बैठक के बाद सहमति बनी कि पंचायतों को जारी होने वाले चतुर्थ राज्य वित्त के बजट में वृद्धि की जाएगी। इसके लिए फाइनेंस डिपार्टमेंट व वित्त मंत्री से बात के बाद कैबिनेट में प्रस्ताव लाया जाएगा। वहीं पंचायतीराज एक्ट लागू करने को लेकर पंचायतीराज मंत्री ने शासन को इसका प्रस्ताव कैबिनेट के सम्मुख रखने के निर्देश दिए। मंत्री की तरफ से निर्देशित किया कि 7फ्वें संविधान संशोधन के अंतर्गत पंचायतों में विकेंद्रीकरण की व्यवस्था लागू करने के लिए सचिव की अध्यक्षता में कमेटी गठित की जाए। कमेटी इस बावत ग्राम प्रधानों से सुझाव लिए जाएंगे। इस बारे में प्रदेश प्रधान संगठन के प्रदेश अध्यक्ष गिरवीर परमार व महामंत्री रितेश जोशी ने बताया कि वार्ता सफल रही। वार्ता में विभागीय मंत्री ने फ्क् दिसंबर तक मांगें पूरी करने का लिखित आश्वासन भी दिया है। वार्ता के बाद मंत्री ने परेड मैदान पहुंचकर प्रधानों को जूस पिलाकर अनशन तुड़वाया।

एएनएम ने भी किया आंदाेलन स्थगित

सीएमओ कार्यालय में उत्तराखंड मातृ-शिशु एवं परिवार कल्याण महिला कर्मचारी संघ के बैनर तले एएनएम कार्य बहिष्कार कर धरने पर बैठी थीं। शुक्रवार को सीएमओ ताराचंद्र पंत से वार्ता हुई। सीएमओ ने गे्रड वेतनमान स्वीकृति के लिए स्क्रीनिंग कमेटी गठित करने का कर्मचारियों को भरोसा दिया। संघ की प्रांतीय अध्यक्ष गुड्डी मटूड़ा ने बताया कि स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक ख्भ् नवंबर को सीएमओ कार्यालय में ही होगी। उन्होंने कहा कि ख्भ् नवंबर को बैठक में कोई निर्णय नहीं हुआ तो ख्म् नवंबर से पूरे प्रदेश में हड़ताल शुरू कर दी जाएगी। सीएमओ के आश्वासन के बाद उत्तराखंड मातृ-शिशु एवं परिवार कल्याण महिला कर्मचारी संघ ने आंदोलन स्थगित करने ऐलान किया।

Posted By: Inextlive