RANCHI : राजधानी रांची में कभी मोनो रेल तो कभी मेट्रो ट्रेन चलाने की बात हो रही है, लेकिन हकीकत है कि यहां की पब्लिक ट्रांसपोर्ट सिस्टम पूरी तरह ध्वस्त हो चुकी है। सड़कों के जो हालात हैं, उसमें सिटी बस भी सही से नहीं चल रही है। रोड पर ही ऑटो वालों की मनमानी चलती है। परमिट हो या नहीं हो, वे बेखौफ होकर सड़कों पर दौड़ रहे हैं। इतना ही नहीं, रोड पर ही आड़े-तिरछे ऑटो खड़ा कर ट्रैफिक को भी चुनौती दे रहे हैं। ई-रिक्शा वालों का तो कहना ही क्या। वे मनमर्जी से रोड पर अपने वाहन को दौड़ा रहे हैं। सबसे बड़ी बात यहां की सड़कें अपनी क्षमता से कई गुना ज्यादा वाहनों की भार ढोने रहे हैं।

पब्लिक ट्रांसपोर्ट धाराशायी

एक एनजीओ द्वारा किए गए सर्वे के मुताबिक, रांची शहर की आबादी करीब 16 लाख है। राजधानी में करीब चार लाख लोग हर दिन पब्लिक ट्रांसपोर्ट सिस्टम का इस्तेमाल करते हैं। इनमें भी 50 परसेंट लोग सिर्फ ऑटो से आना-जाना करते हैं। लेकिन, इतनी बड़ी आबादी के लिए यहां की पब्लिक ट्रांसपोर्ट माकूल नहीं है। लेकिन, इसके बाद भी न तो नए ऑटो को परमिट मिल रहा है और न ही सिटी बसों की संख्या ही बढ़ाई जा रही है।

सिटी बस सर्विस भी फेल

रांची शहरी क्षेत्र में अगर सिर्फ सिटी बसों का ही परिचालन हर रूट में आने जाने के लिए किया जाये तो शहरवासियों की सहूलियत के लिए करीब 350 सिटी बसों की जरूरत पड़ेगी। जबकि पहले से ही शहर में 70 सिटी बसें मौजूद हैं। नगर निगम ने 3.25 करोड़ की लागत से हाल ही में टाटा मोर्टस से 26 नयी बसें खरीदी भी हैं। लेकिन इनमें से बहुत सारी बसें रोड पर नही उतरी है। पहले जो 70 सिटी बसें खरीदी गई थी उनमें से 30 खराब हैं, यानी अभी केवल 40 बसें ही शहर के विभिन्न रूटों पर चल रही हैं।

2452 ई- रिक्शा रोड को कर रहे जाम

फि लहाल शहर में 2452 ई-रिक्शा चलते हैं। ये बीच सड़क में रुक कर यात्रियों को बैठाते और उतारते हैं, जिसकी वजह से जाम लगता है। हलांकि ट्रैफि क को-ऑर्डिनेशन कमेटी ने इनके लिए रूट निर्धारित कर दिया है। अब तक 900 ई-रिक्शों को रूट पास जारी किया गया है। सभी ऑटो को शहर से बाहर कर देने के बाद अगर शहर के हर रूट पर ई-रिक्शा चलाने का निर्देश जारी कर दिया जाये तब भी लोगों की समस्या का समाधान नहीं होगा। साथ ही जब तक ई-रिक्शों के लिए यातायात के सख्त नियम नहीं बनाये जायेंगे तब तक जाम की समस्या से मुक्ति नहीं मिलने वाली है।

सड़क पर हर साल उतरती हैं 36 हजार गाडि़यां

रांची में फ ोर व्हीलर और टू व्हीलर गाडि़यों के रजिस्ट्रेशन में काफ इजाफ ा हुआ है। रांची जिला परिवहन पदाधिकारी नागेंद्र पासवान की माने तो हर महीने करीब 3 हजार गाडि़यों का रजिस्ट्रेशन राजधानी में होता है। यानि हर साल करीब 36 हजार नए वाहन सड़क पर उतरते हैं। उन्होंने कहा कि इतनी बड़ी संख्या में सड़क पर गाडि़यों के उतारने के लिए सड़कों के भी उतने ही विस्तार की दरकार है। पर ऐसा हो नहीं सका है इस वजह से आगामी दिनों में ट्रैफि क की बड़ी समस्या से लोगों को दो-चार होना पड़ सकता है।

Posted By: Inextlive