- गंदगी से परेशान दुकानदारों ने खुद उठाया कदम

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PRAYAGRAJ: मैं अकेला ही चला था जानिब-ए-मंजिल मगर लोग साथ आते गए और कारवां बनता गया। मजरूह सुल्तानपुरी की यह लोकप्रिय शेर दैनिक जागरण आई नेक्स्ट के 'बिन में फेंक' कम्पेन पर सटीक नजर आती है। गत दिनों पूर्व कैम्पेन से प्रभावित ओल्ड सिटी चौक के व्यापारियों ने स्वच्छता को बढ़ावा देने के लिए दुकान के बाहर डस्टबिन रखने की शुरुआत की थी, अब राजापुर के भी व्यापारी साथ आ गये हैं। यहां के दुकानदारों ने अपनी दुकान के सामने डस्टबिन रख लोगों को स्वच्छता के लिए अवेयर करना शुरू कर दिया है।

पब्लिक आये साथ तो बनेगी बात

पर-डे निकलने वाला कचरा आज सबसे बड़ी समस्या बन चुका है। कचरा उठते, झाड़ू लगते देर नहीं लगती कि थोड़ी देर में ही फिर से कचरे का ढेर दिखने लगता है। नगर निगम के कर्मचारी एक ही मोहल्ले में 24 घंटे बैठकर सफाई नहीं कर सकते हैं। ऐसे में लोगों की भी जिम्मेदारी है कि वे अपने घर व दुकान का कचरा बाहर तभी फेकें और सफाई कर्मचारी को दें, जब कर्मचारी मोहल्ले में सफाई करने और झाड़ू लगाने आये।

खुद के पैसे खरीदकर रख दिया डस्टबिन

जगह-जगह कचरे का ढेर इसलिए दिखता है कि लोगों को जहां-चाहे वहां कचरा फेंकने की आजादी जो मिली है। अब हर घर, हर दुकान के सामने नगर निगम डस्टबिन नहीं लगा सकता है। इसलिए राजापुर के दुकानदारों ने अपने खर्चे से अपनी दुकानों के बाहर एक-एक डिब्बे को डस्टबिन बना कर रख दिया है, ताकि उनके दुकान का कचरा और कस्टमर्स के साथ ही पब्लिक द्वारा फेंका जा रहा कचरा रोड पर नहीं बल्कि डस्टबिन में ही डाला जाए।

वर्जन-

राजापुर के व्यापारी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छ भारत मिशन के साथ कदम से कदम मिलाकर चलने को तैयार है। हम दुकानदार अपने दुकान का कचरा यहां-वहां नहीं, बल्कि डस्टबिन में ही फेंकते हैं।

प्रमिल

दुकान के बाहर और घर के अंदर डस्टबिन रखना बहुत छोटी पहल है। जिसे बहुत कम खर्च में किया जा सकता है। बस एक आदत बनानी होगी कि कचरा कैसा भी हो, उसे कहीं भी नहीं फेंकना है।

कुलदीप

दुकान खोलने के बाद डस्टबिन बाहर रख देते हैं और फिर रात में जब दुकान बंद करने का समय आता है, तब कचरा आस-पास स्थित डीपी या फिर कूड़ा कलेक्शन सेंटर पर फेंक देते हैं। जिसे सुबह आने वाले कर्मचारी साफ कर देते हैं।

अनूप

पब्लिक की कम्प्लेन आने का सिलसिला जारी है

कम्प्लेन-1

सलोरी के अमिताभ बच्चन रोड पर बड़ी संख्या में मेरे जैसे स्टूडेंट्स किराए के मकानों में रहते हैं। इस एरिया में सफाई व्यवस्था बहुत खराब है। यहां तीन-चार दिन तक कचरा पड़ा रहता है, जो रोड पर ही फैला रहता है। बदबू भी देता है। जिससे पढ़ने में दिक्कत होती है। क्या करें, हम कुछ कह भी नहीं सकते क्योंकि हम लोग किराएदार जो हैं।

गौरव पांडेय

अमिताभ बच्चन रोड

प्रयागराज को जहां स्मार्ट सीटी बनाया जा रहा है, वहीं नया बैरहना इन्द्रपुरी कालोनी को मेडिकल और साउथ मलाका रामबाग के मेन रास्ते से जोड़ने वाली रोड की हालत बहुत खराब है। जहां एक नहीं बल्कि दो प्रॉब्लम है। एक तरफ जहां आस-पास के मोहल्लों का कचरा यहां खाली पड़ी जमीन पर फेंक दिया जाता है। वहीं दूसरी तरफ नाली न होने से लोगों के घरों का पानी रोड पर ही बहता रहता है। इससे लोग बाइक से फिसल कर गिर जाते हैं। नगर निगम के अधिकारियों और महापौर को भी ज्ञापन दिया जा चुका है, पर कोई सुनवाई नहीं हो रही।

मनीष पांडेय

समाज सेवक

Posted By: Inextlive