- घोटाला रोकने के लिए आपूर्ति विभाग शुरू करेगा नई व्यवस्था

- सर्वर से कनेक्ट होगी राशन की दुकान पर इंप्रेशन मशीन

Meerut : गरीबों के हिस्से का अनाज गरीबों को ही मिले, न कि कोटेदार ब्लैक मार्केटिंग कर गरीब के हिस्से का अनाज हजम कर जाएं। आपूर्ति विभाग की ओर से खाद्यान्न वितरण में इस गड़बड़ घोटाले पर अंकुश लगाने के लिए नई व्यवस्था लागू की जाएगी, जिसके तहत राशन कार्ड होल्डर को थंब इंप्रेशन के बाद ही अनाज मिलेगा। इसमें खास बात यह है कि यदि कोई कार्ड होल्डर अनाज नहीं लेता है, तो उसका अनाज कोटेदार को नहीं मिलेगा।

छत्तीसगढ़ में ट्रायल शुरू

अक्सर गरीबों के हिस्से का अनाज कोटेदार गोलमाल कर देते हैं। इसकी शिकायतें भी आती रहती हैं, लेकिन कागजी कोरम पूरा करके कोटेदार घोटाला करने में कामयाब हो जाते हैं। अब तक कई बड़े खाद्यान्न घोटाले भी हो चुके हैं। इस पर लगाम लगाने के लिए सरकार ने थंब इंप्रेशन व्यवस्था लागू की है, जिसका ट्रायल छत्तीसगढ़ में शुरू भी हो चुका है। इस क्रम में राशन कार्ड होल्डर्स के आधार नंबर लेने शुरू कर दिए हैं। थंब इंप्रेशन मशीन में उपभोक्ताओं का रिकार्ड रहेगा। जैसे ही व्यक्ति मशीन में अंगूठा लगाएगा उसका ब्योरा नजर आने लगेगा। यदि मशीन ने उपभोक्ता की पहचान कर ली तो दुकानदार उसे पात्रता के अनुसार राशन आवंटित कर देगा।

सभी दुकानों पर रहेगी व्यवस्था

मेरठ डिस्ट्रिक्ट में सरकारी राशन की 945 दुकानें हैं। इन भी दुकानों से एपीएल, बीपीएल और अंत्योदय के करीब 7.84 लाख उपभोक्ता जुड़े हुए हैं। अधिकारियों का कहना है कि डिस्ट्रिक्ट के सभी राशन दुकानों पर थंब इम्प्रेशन की व्यवस्था होगी। ये मशीनें विभाग के डिस्ट्रिक्ट और सेंट्रल सर्वर से जुड़ी रहेंगी।

तीन सदस्यों का होगा इंप्रेशन

इस व्यवस्था में मुखिया के अलावा घर के एक-दो और सदस्यों का थंब इम्प्रेशन लिए जाएंगे। ताकि, किसी सदस्य एक सदस्य की गैर मौजूदगी में दूसरा सदस्य अनाज ले सके। बिना थंब इम्प्रेशन के किसी भी उपभोक्ता को राशन नहीं मिल सकेगा।

तो कम हो जाएगा राशन

दुकानदार के यहां से यदि कुछ लोग अपना राशन नहीं लेते है, तो अगले महीने उतना कम राशन दुकानदार को आवंटित होगा। गोदाम में रखे गए राशन का रिकॉर्ड भी ऑनलाइन होगा, जिससे की राशन के साथ होने वाले घालमेल पर लगाम लगाई जा सके। मेरठ डिस्ट्रिक्ट में हर महीने गेहूं, चावल, चीनी का अच्छा-खासा आवंटन दुकानदारों को होता है।

इस तरह होगी व्यवस्था

- उपभोक्ताओं को आधार से जोड़ा जाएगा।

- दुकानों पर थंब इम्प्रेशन मशीन लगाई जाएंगी।

- ये मशीनें विभाग के सेंट्रल सर्वर से जुड़ी होंगी।

- सर्वर में प्रदेश के सभी राशन कार्ड होल्डर्स का रिकॉर्ड होगा।

- थंब इम्प्रेशन से उपभोक्ता का रिकॉर्ड दर्ज हो जाएगा।

- इससे उपभोक्ता या दुकानदार गड़बड़ी नहीं कर सकेंगे।

थंब इंम्प्रेशन मशीन

- इसमें हाथ की उंगलियों के छाप दर्ज होती है। जो स्क्रीन पर रखते ही उपभोक्ता की पहचान कर लेगी।

- प्रति मशीन पर 1,175 रुपए का खर्च आएगा।

- मुखिया के अलावा घर के एक-दो सदस्य और अपना थंब इंप्रेशन फीड करा सकेंगे।

फैक्ट एंड फिगर

- मेरठ में राशन की दुकानों की संख्या : 945

- मेरठ में कुल कार्ड धारकों की संख्या : 7,84,310.

- मेरठ जिले में बीपीएल कार्ड धारकों की संख्या : 15,443.

- मेरठ जिले में अन्त्योदय कार्ड धारकों की संख्या : 9,229.

- मेरठ जिले में अतिरिक्त बीपीएल कार्ड धारकों की संख्या : 1,63,143.

- हर महीने एवरेज आवंटित होने वाला राशन : 50,000 क्विंटल।

आने वाले दिनों में लोगों को थंब इंप्रेशन के जरिए राशन मिलेगा। नई व्यवस्था की कवायद चल रही है। कई जगहों पर ट्रायल शुरू हो गया है।

- डीएन श्रीवास्तव, डीएसओ

Posted By: Inextlive