Sanjay Dutt के फैन्स के लिए ये टाइम डबल सेलिब्रेशन का हो सकता है। कारण है कि इसी साल अक्टूबर में उन्हें संजू बाबा की दो जबरदस्त फिल्में एंज्वॉय करने को मिलेंगी। इनमें से एक होगी तीन साल से व्यूअर्स को इंतजार करा रही फिल्म 'तोरबाज' जो साल के आखिरी में रिलीज होने के लिए अब फाइनली पूरी तरह से तैयार हो चुकी है।

मुंबई (मिड-डे)। करीब ढाई साल के बाद फाइनली Sanjay Dutt की मोस्ट अवेटेड मूवी तोरबाज तैयार है फ्लोर पर आने के लिए। ऐसा भी माना जा रहा है कि ये मूवी अक्टूबर में रिलीज हो सकती है। अपनी इस एक्शनर मूवी को लेकर फिल्म के प्रोड्यूसर राहुल मित्रा बताते हैं कि फिल्म अफगानिस्तान के चाइल्ड सुसाइड बॉम्बर्स पर बेस्ड है जिसकी शूटिंग 2017 में शुरू कर दी गई थी। फिर भला क्यों हुई इतनी देरी फिल्म की रिलीज में, जानें उन्हीं की जुबानी।

2020 में इसका आना तय है

फिल्म की रिलीज को लेकर राहुल कहते हैं, 'फिलहाल किसी भी फिल्म की रिलीज को लेकर ये समय तो बहुत ही बुरा है। कोरोना वायरस की वजह से सभी फिल्मों की रिलीज डेट को आगे बढ़ा दिया गया है पर मैं आपको अश्योर करता हूं कि तोरबाज 2020 में रिलीज हो ही जाएगी। हम अक्टूबर में इसको रिलीज करने की प्लानिंग कर रहे हैं।' वैसे इससे भी ज्यादा इंटरेस्टिंग बात ये है कि हाल ही में संजय दत्त ने सोशल मीडिया पर मैसेज शेयर करते हुए बताया कि उनकी नेक्स्ट मूवी केजीएफ चैप्टर 2 आने वाली है जो 23 अक्टूबर को रिलीज होगी।

टुकड़ों- टुकड़ों में हुआ लेट

डायरेक्टर गिरीश मलिक की फिल्म तोरबाज में संजय दत्त के साथ एक्ट्रेस नरगिस फाखरी भी नजर आने वाली हैं। फिल्म की शूटिंग 2017 दिसंबर में किर्गिस्तान में शुरू हुई थी। उसके बाद इसके आगे के सीन्स को मई 2018 में शूट किया गया। इस तरह से टुकड़ों- टुकड़ों में फिल्म को शूट करने के बाद फाइनली लास्ट ईयर फरवरी में इसे कंप्लीट किया गया। इसके बाद मेकर्स ने फिल्म को 2019 के सेकेंड हाफ में रिलीज करने की बात कही। इसके बावजूद पोस्ट प्रोडक्शन की ओर से भी फिल्म को फाइनलाइज करने में करीब एक साल का समय लग गया। फिल्म के टुकड़ों- टुकड़ों में इतना लेट होने के पीछे आखिर क्या कारण रहे, इसपर राहुल मित्रा ने फिल्म के वीएफएक्स इफैक्ट्स को कारण बताया।

वीएफएक्स पर हुआ है जबरदस्त काम

राहुल कहते हैं, 'फिल्म में वीएफएक्स पर जबरदस्त काम किया गया है बल्कि हमने स्पेशल इफैक्ट्स की हेल्प से ही पूरा का पूरा काबुल सिटी खुद बनाया है।' इसके आगे उन्होंने बताया, 'हम जब अफगानिस्तान में थे तो हमें छह महीने लग गए शूटिंग के लिए सही लोकेशन को ढूंढने में। तब हमने इसके कुछ सीन्स किर्गिस्तान में शूट किए। इन्हीं कुछ वजहों से फिल्म को कंप्लीट करने में इतना समय लग गया।'

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Posted By: Vandana Sharma