07 टीमें बनाई गई

350 सीसीटीवी कैमरे खंगाले

100 से अधिक मोबाइल नंबर की डिटेल खंगाली

50 लोगों से शक के दायरे में पूछताछ की गई

- घटना में शामिल दो शूटर समेत तीन लोगों को गिरफ्तार करने का दावा

- शूटरों को चकमा देने के लिए पुलिस ने वायरल की थी गलत फुटेज

LUCKNOW : रियल इस्टेट कारोबारी सुनील सिंह की फर्म शिव शक्ति कंस्ट्रक्शन अंसल सिटी के सामने जिस स्वातिका अपार्टमेंट का निर्माण कार्य करवा रही है उसके बेसमेंट की खोदाई के ठेके को लेकर आशीष सिंह से उसकी ठनी थी। वह सुनील सिंह की साइट पर मिट्टी खनन के करोड़ों रुपये के ठेके को हथियाना चाहता था। इस ठेके के लिए उसने एलडीए अफसरों से जुगाड़ लगाया था। सुनील ने यह काम एक मंत्री के करीबी को दे दिया। इसके बाद आशीष बौखला गया और सुनील को रास्ते से हटाने की योजना बनाई। शूटर्स की मदद से उस पर जानलेवा हमला कराया था।

कभी करते थे साथ में काम

एसएसपी कलानिधि नैथानी के अनुसार रियल इस्टेट कारोबारी सुनील सिंह और आशीष सिंह ने लंबे समय तक गोसाईगंज क्षेत्र में खनन का काम करके खूब कमाई की। वर्ष 2017 में सत्ता बदलने के बाद सुनील ने शिव शक्ति नाम से अलग फर्म बनाकर पुराने साझेदारों से दूरी बनानी शुरू कर दी। देवरिया के उसके एक पार्टनर ने पूर्वाचल के बाहुबलियों का रुपया सुनील की नई फर्म में निवेश कराया, जिससे वह काफी आगे निकलने लगा। उसने आशीष सिंह को खुद से अलग कर दिया। इसी बीच उसने एक मंत्री से करीबियां बढ़ाई और उनके साथियों को साथ लेकर काम करने लगा। मंत्री और पूर्वाचल के बाहुलियों के प्रभाव का इस्तेमाल करके उसने अंसल सिटी के पास जोयो माल और स्वातिका अपार्टमेंट का काम लिया।

खनन का ठेका छीनने से बढ़ी रंजिश

स्वातिका अपार्टमेंट के बेसमेंट की खोदाई का ठेका करीब छह करोड़ का है। आशीष ने यह काम सुनील से मांगा, लेकिन उसने देने से इंकार कर दिया। इसपर आशीष ने उसके खिलाफ एलडीए में शिकायतें करनी शुरू कर दी। पुराने कामों की तमाम अनियमितताओं का साक्ष्य देकर प्रार्थना पत्र डालने लगा। इसे लेकर दोनों के बीच विवाद काफी बढ़ गया। कुछ दोस्तों ने बीच में आकर स्वातिका में खोदाई का काम आशीष को देने की शर्त पर दोनों में समझौता कराया, लेकिन इसी बीच सुनील ने यह काम पूर्वाचल के मंत्री के एक करीबी को दे दिया, जिसके बाद आशीष ने सुनील को रास्ते से हटाकर खनन के काम में वर्चस्व कायम करने की योजना बनाई।

चकमा देने के लिए वायरल की फुटेज

एसएसपी कलानिधि नैथानी ने बताया कि सुनील को गोली मारकर भाग रहे शूटरों की कई फुटेज मिली थी जिसमें उनका चेहरा साफ दिख रहा था। इसमें एक शूटर के सिर में कम बाल थे। इलेक्ट्रानिक सर्विलांस और मुखबिरों ने इसकी पहचाना आदित्य नारायण उर्फ गुड्डू के रूप में की। उसे चकमा देने के लिए पुलिस ने हजरतगंज में विधायक मुख्तार अंसारी के करीबियों को गोली मारने के मामले में मिले संदिग्धों की फुटेज को सुनील पर गोली चलाने वालों की बताकर वायरल किया। चकमे में आए आरोपियों को लगा कि वह बच निकले हैं। इस पर बुधवार को पुलिस टीम ने उन्हें लखनऊ से बाहर जाते समय उतरेटिया के पास से गिरफ्तार कर लिया।

पूर्व पार्टनर को पांच दिन तक बैठाए रखा

वारदात के बाद पुलिस ने सुनील सिंह के पुराने पार्टनर एमएलसी के रिश्तेदार राजेश पांडेय और जयकुमार राव को उठा लिया था। लगातार पूछताछ और जांच के बाद सुनील पर हुए जानलेवा हमले में रियल इस्टेट कारोबारी और पूर्व पार्टनर राजेश पांडेय की भूमिका नहीं मिली। इसके बाद भी पुलिस खुलासे वाले दिन तक उन्हें बैठाए रखी। इस पर पुलिस की भूमिका पर भी सवाल खड़े हो रहे हैं।

आरोपी के भाई ने लगाया आरोप

कारोबारी पर जानलेवा हमले में गिरफ्तार अमरेंद्र सिंह का भाई रामेंद्र एसएसपी आवास पहुंच गया। उसने आरोप लगाया कि पुलिस ने देर रात उसके भाई को जबरन उठाकर भाभी को नजरबंद कर दिया। उसका कहना है कि वारदात वाले दिन अमरेंद्र अपने बालामऊ स्थित घर पर एक धार्मिक आयोजन में शामिल था। उसका कहना है कि आयोजन की फोटो और सीसीटीवी फुटेज के साथ वह गुरुवार को उच्चाधिकारियों से शिकायत करेगा।

दो आरोपी पुलिस की गिरफ्त से बाहर

पुलिस टीम ने हरदोई कछौना निवासी शूटर संजय उर्फ टिल्लू, हैदराबाद से बुलाए गए मूलरूप से हरदोई बालामऊ निवासी मो। अशफाक और अमरेन्द्र सिंह को गिरफ्तार किया है। उनके पास से 315 बोर का तमंचा, 30 बोर की पिस्टल, जिंदा कारतूस और एक टाटा सफारी कार बरामद की है। टाटा सफारी कार अमरेन्द्र सिंह की बताई जा रही है और उस गाड़ी से शूटरों को सुनील सिंह के घर की रेकी कराई गई थी। पुलिस अभी आशीष सिंह और आदित्य नारायण उर्फ गुड्डू की तलाश कर रही है। पकड़े गए संजय उर्फ टिल्लू के खिलाफ 2013 में हत्या, हत्या के प्रयास और रेप, गैंगेस्टर समेत कई अपराधिक मामले दर्ज हैं।

Posted By: Inextlive