ALLAHABAD: 1966 में सीनियर कैम्ब्रिज एग्जाम पास करने के बाद जो ब्राउन सेंट जोसेफ स्कूल गेट से एक साधारण स्टूडेंट के तौर पर निकले थे. 46 साल बाद वह एयर चीफ मार्शल एनएके ब्राउन बनकर वेडनसडे को इलाहाबाद के सेंट जोसेफ कॉलेज पहुंचे थे. अपने कॉलेज पहुंचकर एयर चीफ मार्शल बचपन की यादों में खो गए.


स्वागत से पहले ही उन्होंने सवालों की झड़ी लगा दी। प्रिसिंपल ऑफिस के बगल से स्टेयर्स लगी हुई थी? यह सामने वाली बिल्डिंग कब बनी है? जूनियर सेक्शन कहां शिफ्ट हो गया है? लाइब्रेरी हॉल कहां पर चला गया है? बगल में खड़े प्रिंसिपल फादर लुईस ने उनकी हर क्वेरीज को शांत किया। यहां हुई पढ़ाई एयर चीफ मार्शल के स्कूल में इंट्री से लेकर वहां से लौटने तक किसी को अहसास नहीं हुआ कि वह एयर चीफ मार्शल से मुलाकात कर रहा है। उन्होंने सेंट एंथोनी से प्राइमरी एजुकेशन ली थी। इसके बाद सेंट जोसेफ में ट्रांसफर कर दिए गए। यहां से उन्होंने हाईस्कूल पास किया। Ground कुछ छोटा हो गया क्या


वह कॉलेज के ग्राउंड से होते हुए मेन हाल तक गए। ग्राउंड पर पहुंचते ही उन्होंने साथ चल रही पत्नी को इशारा करते हुए बताया कि यही ग्राउंड है, जहां हम घंटो खेला करते थे। फिर उन्होंने प्रिंसिपल से पूछा, ग्राउंड कुछ छोटा हो गया है क्या? खूब खेलो, खूब पढ़ो

एयर चीफ मार्शल एनएके ब्राउन का सक्सेस मंत्रा है, खूब खेलो-खूब पढ़ो। उन्होंने अपने जूनियर साथियों को कहा कि सिर्फ स्टडी के बल पर आप सफल व्यक्ति नहीं बन सकते। सक्सेज होने के लिए जरूरी है खेलो-पढ़ो और मस्त रहो। उन्होंने कहा कि मानसिक और शारीरिक तौर पर सेहतमंद हुए बिना तरक्की की इबारत लिखना मुश्किल है। फाइटर एयरक्राफ्ट देने का वादा किया एयर चीफ मार्शल ने सेंट जोसेफ कॉलेज के बच्चों से फाइटर प्लेन गिफ्ट करने का वादा किया है। उन्होंने कहा कि बच्चे बहुत जल्द ही सेंट जोसेफ स्कूल के कैंपस में फाइटर प्लेन को देखेंगे। इससे पहले स्कूल के एक एक्स स्टूडेंट ने ही स्कूल को तोप गिफ्ट दी थी जो कॉलेज कैंपस में लगी हुई है। एन ब्राउन ने सेंट्रल एयर कमांड के ऑफिसर्स को इस बारे में निर्देश भी दिया है।

Posted By: Inextlive