चौकाघाट-लहरतारा फ्लाईओवर के साढ़े चार साल के इंतजार के बाद भी जाम से निजात नहीं

गलत साइड चलने वालों की वजह से हर दिन हो रही दुर्घटनाएं

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साढ़े चार साल के लंबे इंतजार के बाद चौकाघाट-लहरतारा फ्लाईओवर तैयार होने पर पब्लिक को जाम से निजात मिलने की उम्मीद थी। 16 फरवरी को इसे हरी झंडी दिखाने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने भी कहा था अब काशी की जनता को जाम से राहत मिलेगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। फ्लाईओवर पर वाहन तो फर्राटा भर रहे हैं लेकिन चौकाघाट के पास नीचे उतरते ही भीषण जाम का सामना करना पड़ता है। फ्लाईओवर के शुरू होने से कैंट स्टेशन का जाम चौकाघाट चौराहे पर शिफ्ट हो गया है। लहरतारा से आने पर अंधरापुल के आगे फ्लाईओवर उतर रहा है। वाहनों का दबाव बढ़ने से यहां लगातार जाम लग रहता है। इसका असर चौकाघाट से नदेसर और मकबूल आलम रोड पर भी पड़ रहा है, जहां वाहनों की लंबी कतार लग रही है। बावजूद इसके यातायात विभाग की ओर से कोई व्यवस्था नहीं होने से लोग परेशान हो रहे हैं।

दुश्वारियां नहीं हुई कम

लहरतारा-चौकाघाट पुल से राहत कम दुश्वारियां ज्यादा बढ़ गई हैं। लहरतारा से कचहरी, पांडेयपुर, सारनाथ, कज्जाकपुरा या पड़ाव जाने वालों के लिए मुसीबतें कम नहीं, बल्कि बढ़ गई है। चौकाघाट पर जाम लगने से लोग घंटों जाम में फंसे रहते हैं। हालांकि चौकाघाट से लहरतारा जाने वालों का सफर अच्छा हो गया, लेकिन रॉग साइड से आने वाले वाहनों से एक्सीडेंट का खतरा बना रहता है। पिछले एक हफ्ते में ही चार दुर्घटनाएं हो चुकी है, जिसमें छह लोग घायल हो गए, जबकि एक युवक की मौत भी हो चुकी है।

कारोबारियों का नुकसान

करोड़ों रुपये खर्च कर तैयार हुए चौकाघाट पुल का लाभ ट्रक समेत बड़े वाहनों को नहीं मिल रहा है। सेतु निगम ने अभी तक लोक निर्माण विभाग को पुल हैंडओवर नहीं किया है। इसके चलते मालवाहक वाहनों को अभी इस पुल से गुजरने की इजाजत नहीं है। इसके चलते वाहनों को लंबा रास्ता तय करके शहर में आना पड़ रहा है। ट्रक ऑपरेटरों का कहना है कि मोहनसराय से शहर में ट्रकों के न आने देने से हजारों रुपये अतिरिक्त खर्च हो रहे हैं। कारोबारियों ने एसपी टै्रफिक से फ्लाईओवर पर ट्रकों और माल वाहन वाहनों के आवागमन की अनुमति की मांग की है, लेकिन उन्हें उचित आश्वासन नहीं मिला है।

तीन बार बदली डिजाइन

फ्लाईओवर की डिजाइन तीन बार बदली गयी। तीन चरणों में बांटकर फ्लाईओवर का निर्माण कराया जा रहा है। पहले चरण में चौकाघाट से रोडवेज तक काम पांच साल पहले पूरा कर लिया गया है। दूसरे चरण में अंधरापुल से कैंसर अस्पताल तक का काम निर्माण हुआ। तीसरे चरण में कैंट तिराहे से काशी विद्यापीठ से फ्लाईओवर तक निर्माण जारी है।

बिना टेस्टिंग चालू हो गया पुल

लहरतारा-चौकाघाट फ्लाईओवर को बिना टेस्टिंग ही चालू करा दिया गया है। सेतु निगम ने अभी पीडब्ल्यूडी को फ्लाईओवर हैंडओवर नहीं किया है। ट्रक मालिकों ने बिना हैंडओवर किए पुल के लोकार्पण पर भी आपत्ति जताई। इस पर सेतु निगम के उप परियोजना प्रबंधक एके सिंह ने कहा कि पुल की डिजाइन ही लोड टेस्टेड है।

वर्जन

जाम की समस्या आ रही है। पुल से आवागमन के लिए ट्रक एसोसिएशन के सदस्य भी मिले थे, लेकिन अभी पीडब्ल्यूडी को पुल हैंडओवर नहीं किया गया है। यह प्रक्रिया होने बाद ही भारी वाहनों को फ्लाईओवर से चलाने पर विचार होगा और नई व्यवस्था की जाएगी।

-श्रवण कुमार सिंह, एसपी टै्रफिक

Posted By: Inextlive