कैंडीडेट का अंकपत्र सोशल मीडिया पर हुआ वायरल prayagraj@inext.co.in परिषदीय स्कूलों की 69000 शिक्षक भर्ती की लिखित परीक्षा में उम्दा अंकों से उत्तीर्ण करने वाली अर्चना तिवारी का अंकपत्र शुक्रवार को सोशल मीडिया में वायरल हो गया. वजह अर्चना का ओबीसी वर्ग में परीक्षा उत्तीर्ण करना है. सभी हैरत में

कैंडीडेट का अंकपत्र सोशल मीडिया पर हुआ वायरल

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परिषदीय स्कूलों की 69000 शिक्षक भर्ती की लिखित परीक्षा में उम्दा अंकों से उत्तीर्ण करने वाली अर्चना तिवारी का अंकपत्र शुक्रवार को सोशल मीडिया में वायरल हो गया। वजह, अर्चना का ओबीसी वर्ग में परीक्षा उत्तीर्ण करना है। सभी हैरत में हैं कि नाम से ही जो अभ्यर्थी सामान्य वर्ग की है उसका चयन ओबीसी वर्ग में कैसे हो गया? बेसिक शिक्षा परिषद ने उसके गुणांक के आधार पर गृह जिला आजमगढ़ आवंटित भी कर दिया है।

प्रतियोगी उठा रहे हैं सवाल

बेसिक शिक्षा परिषद की शिक्षक भर्ती की लिखित परीक्षा का परिणाम आने के बाद से प्रतियोगी तमाम अंकपत्र निरंतर वायरल कर रहे हैं साथ ही परीक्षा में अच्छे अंक पाने वालों पर नित नए सवाल उठाए जा रहे हैं। उन प्रकरणों का ठोस आधार न होने से वे सुर्खियां नहीं बन सके। शुक्रवार को अर्चना तिवारी का अंकपत्र वायरल हुआ। अर्चना पुत्री जगदीश प्रसाद का लिखित परीक्षा में पंजीकरण संख्या 4900098460 व अनुक्रमांक 49490804207 रहा है। परीक्षा में उसने 150 में से 114 अंक अर्जित किए हैं। अंकपत्र में उसका वर्ग ओबीसी लिखा है। एक जून को बेसिक शिक्षा परिषद ने उसे गृह जिला आजमगढ़ आवंटित भी कर दिया है, 69000 चयन सूची में उसकी रैंक 13520वीं है। उधर, आवेदन पत्र में दर्ज अर्चना के मोबाइल नंबर 9838359233 पर संपर्क करने का प्रयास किया, एक बार फोन उठा इसके बाद उसे स्विच ऑफ कर लिया गया।

लिखित परीक्षा के मूल आवेदन में अर्चना ने ओबीसी वर्ग ही लिखा है। इसीलिए उसका अंकपत्र उस वर्ग का जारी हुआ है। अभ्यर्थी ने जो सूचना आवेदन में दर्ज की है। काउंसिलिंग के समय उसे दिखाना होगा, तभी चयन होगा।

अनिल भूषण चतुर्वेदी

सचिव, परीक्षा नियामक प्राधिकारी

अनुक्रमांक की गलती सुधारने की छूट

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 69000 शिक्षक भर्ती में चयनित ओबीसी वर्ग की अभ्यर्थी को राहत दी है। कोर्ट ने उन्हें अनुक्रमांक की त्रुटि सुधारने की छूट दी है। कहा कि याची काउंसिलिंग के समय कमेटी के समक्ष अपना प्रत्यावेदन दे और कमेटी उस पर सहानुभूति पूर्वक विचार कर उचित निर्णय लें। यह आदेश जस्टिस प्रकाश पाडिया ने झांसी की पिंकी की याचिका पर दिया है। याची का कहना था कि वह सहायक अध्यापक भर्ती परीक्षा में सफल हुई है। उसे 150 में से 108 अंक मिले हैं। लेकिन, ऑनलाइन आवेदन भरते समय उसने अपना स्नातक का रोल नंबर गलत भर दिया। इसे सुधारने की अनुमति दी जाय।

Posted By: Inextlive